Wednesday, December 16, 2009

गरीबों की सेवा सा धर्म नहीं धरती पर!

बेरूआरबारी (बलिया), निप्र ।गरीबों, पीड़ितों की सेवा से बढ़कर इस धरती पर कोई बड़ा धर्म नहीं है। गरीब व पीड़ित व्यक्ति को सहायता प्रदान करने से स्वयं को संतुष्टि मिलती है।

यह बातें क्षेत्र के शोकहरण नाथ असेगा मंदिर पर क्षेत्र के बरवा, देल्हुआ, मिड्ढा, सूर्यपुरा, धनौती, असेगा आदि गांवों में कम्बल वितरण के दौरान मुख्य अतिथि किसान मोर्चा के मध्य प्रदेश प्रभारी राजेश कुमार सिंह ने कहीं। कहा कि असेगा की इस आध्यात्मिक धरती पर गरीबों में कम्बल वितरण करके मुझे काफी संतुष्टि मिली है। श्री सिंह ने कार्यक्रम में उपस्थित गणमान्य नागरिकों से भी गरीबों, पीड़ितों के सहयोग में आगे आने की अपील की। इसी क्रम में वरिष्ठ समाजसेवी व व्यवसायी सुनील सर्राफ ने कहा कि देश में गरीबों की संख्या बहुत है। यह शर्म की बात है। इस तरह के कार्यक्रमों के माध्यम से गरीबों व पीड़ितों को सहायता प्रदान करना एक सराहनीय कदम है। सर्राफ ने अन्त में उपस्थित समाजसेवियों से ऐसे पुनीत कार्यो में भरपूर सहयोग करने की अपील की। इस अवसर पर वरिष्ठ नेता सुरेन्द्र सिंह, अंजनी सिंह, भोली सिंह, मंटू सिंह, मदन गिरि आदि उपस्थित रहे। अध्यक्षता भाजपा के ब्लाक अध्यक्ष रामायण सिंह ने की तथा संचालन युवा नेता सुनील कुमार सिंह ने किया।

Sunday, December 6, 2009

उम्र पढ़ने की, सिर पर गिट्टी लेकर भर रहे सड़क !

बलिया। हम पढ़ेंगे, आगे बढ़ेगे का नारा स्थानीय तहसील में मुंह चिढ़ा रहा है। खेलने व पढ़ने के समय में मासूमों के सिर पर काम का बोझ। बच्चों का यह दृश्य बालश्रम उन्मूलन की खूलेआम खिल्ली उड़ रहा है जिसे प्रति दिन देखा जा सकता है।

बलिया-बांसडीह मार्ग का नवनिर्माण का कार्य तेजी पर है और बिहार से आये मजदूर सपरिवार रह कर उक्त सड़क निर्माण में लगे हैं। आर्थिक अभाव व संसाधन के अभाव में पूरा परिवार जिसमें बच्चे भी लगे हैं। पढ़ने की उम्र में सिर पर कंकड़ों से भरा खांची उठाकर सड़क पर गिट्टी फेंकने का काम कर रहे है। शायद इन मासूमों पर न तो उनके मां-बाप का ध्यान जाता है और न ही उन पर प्रशासनिक अधिकारियों की नजर पड़ती, जो इस उम्र में काम न कराने की पाबंदी व रोक के बारे में भलीभांति परिचित हैं।

विकलांगों की सेवा में मिलती है सुखद अनुभूति : डा. मंजूषा

बलिया। शारीरिक रूप से अपंग बच्चों की सेवा करने में एक अजीब तरह की अनुभूति होती है। सेवा की श्रेणी मेंभी यह कार्य सर्वोच्च है। सभी लोगों को इसके लिए आगे आना चाहिए। उक्त बातें वरिष्ठ चिकित्सक डा. मंजूषा व डा. राजेश प्रसाद ने रविवार को आवासीय ब्रिजकोर्स में अध्ययनरत 40 बच्चों के स्वास्थ्य परीक्षण के बाद ऊलेन वस्त्र वितरित करते समय कही। सर्व शिक्षा अभियान के अंतर्गत समेकित शिक्षा में विकलांग बच्चों के आवासीय विद्यालय में बच्चों का स्वास्थ्य परीक्षण किया गया। डा. राजेश प्रसाद ने बच्चों को आवश्यक दवाएं वितरित किया। इस मौके पर एबीएसए अशोक सिंह, नगर शिक्षाधिकारी एके झा, ओमप्रकाश राय, विवेक तिवारी, राजेन्द्र प्रसाद, प्रभुनाथ राय आदि उपस्थित रहे। जिला समन्वयक ओमप्रकाश सिंह ने सभी के प्रति आभार जताया।

Wednesday, November 25, 2009

चित्रकला प्रतियोगिता में बलिया के तीन प्रतिभागी अव्वल !

बलिया । राजकीय इण्टर कालेज बलिया के छात्रों ने इलाहाबाद में हुए प्रदेश स्तरीय चित्रकला प्रतियोगिता में सीनियर वर्ग में प्रथम व द्वितीय तथा जूनियर वर्ग में प्रथम स्थान प्राप्त कर जनपद को गौरवान्वित किया। इस बार भी प्रदेश स्तरीय चित्रकला प्रतियोगिता में कला शिक्षक डा.इफ्तेखार खां के शिष्यों का डंका बजा और उन्होंने लगातार सातवीं बार प्रथम स्थान पर कब्जा जमा लिया। भारत सरकार द्वारा संस्कृति मंत्रालय के अंतर्गत इलाहाबाद संग्रहालय में 14 से 20 नवम्बर तक नेहरू जन्म दिवस के उपलक्ष्य में स्कूली बच्चों के लिए निबन्ध, चित्रकला, लेखन आदि विविध कार्यक्रम का आयोजन हुआ था। इसमें 15 नवम्बर को होने वाले चित्रकला प्रतियोगिता में राजकीय इण्टर कालेज बलिया के छात्रों ने डा.इफ्तखार खां के कुशल निर्देशन एवं नेतृत्व में प्रतिभाग किया। प्रतियोगिता में जवाहर लाल नेहरू, श्रीमती इंदिरा गांधी, मदर टेरेसा, जयप्रकाश नारायण का पोट्रेट अथवा संग्रहालय को सामने से देखकर सादृश्य पेंटिंग या किसी स्कल्पचर की लाइफ स्टडी बनाना था जिसमें सीनियर वर्ग में बलिया के बच्चे मोहम्मद एवं इरशाद अहमद अंसारी ने संग्रहालय का सादृश्य पेंटिंग एवं जूनियर वर्ग में सेराजुन्नबी ने जवाहर लाल नेहरू का पोट्रेट बनाकर जूनियर वर्ग में प्रथम पुरस्कार पाया वहीं सीनियर वर्ग में मोहम्मद उमर ने प्रथम एवं इरशाद अहमद अंसारी कक्षा 11 पुत्र इश्तियाक अहमद अंसारी ने द्वितीय स्थान प्राप्त किया। पुरस्कार वितरण समारोह का आयोजन 22 नवम्बर को इलाहाबाद संग्रहालय में किया गया जिसमें प्रथम स्थान प्राप्त किये छात्रों को गौतम बुद्ध की बड़ी प्रतिमा एवं द्वितीय स्थान विजेता को गणेश की प्रतिमा व पुरस्कार के रूप में उत्तर मध्य सांस्कृतिक निदेशक के कर कमलों द्वारा स्मृति चिन्ह एवं प्रशस्ति पत्र प्रदान किया गया। इस अवसर पर संग्रहालय के निदेशक एके शर्मा एवं अन्य गणमान्य लोग मौजूद रहे।

पुरस्कार प्राप्त कर वापसी पर कला शिक्षक के साथ विजेता छात्रों को विद्यालय के प्रधानाचार्य एवं जिलाविद्यालय निरीक्षक छोटेलाल ने कला शिक्षक डा. इफ्तेखार खां की लगन कुशल निर्देशन की सराहना करते हुए कहा कि इनके कला के प्रति समर्पण के कारण जनपद, प्रदेश एवं राष्ट्र स्तर पर निरंतर बलिया का नाम रोशन हो रहा है।

Monday, November 23, 2009

अगले बरस फिर मिलेंगे, कहते विदा हुए भारतेन्दु मंच से !

बलिया। ददरी मेले के ऐतिहासिक भारतेन्दु कला मंच पर रविवार की रात आयोजकों ने रंगारंग कार्यक्रम के बीच अगले साल फिर मिलने का वादा कर सबसे विदा लिया। विदाई की इस बेला को यादगार करने के लिए आयोजित ददरी महोत्सव में फनकारों ने अपनी कला का जलवा इस कदर बिखेरा कि उमड़ी भीड़ पर सर्दी का तनिक भी असर नहीं दिखा तथा पांडाल पूरी रात खचाखच भरा रहा।

भारतेन्दु कला मंच पर ददरी मेले के समापन समारोह पर आमंत्रित कलाकारों का अभिनन्दन कर अंगवस्त्रम भेंट किया किया गया। औपचारिक समापन समारोह के पश्चात उस ऐतिहासिक मंच को मां वीणावादिनी के उपासकों को सौंप दिया गया। संचालन का अवसर मिला अद्वितीय क्षमता के धनी विजय प्रताप सिंह को। उन्होंने सबसे पहले सबके मन मस्तिष्क को संगीतमयी बनाया और आवाज दिया भोजपुरी के सम्राट व भिखारी ठाकुर सम्मान से सम्मानित कलाकार भरत शर्मा व्यास को। शर्मा ने कार्यक्रम की शुरूआत अरे पूजवा के वेरिया ये मइया, बझिनिया कही पुकारे हो सुनाकर सबको मंत्र मुग्ध कर दिया। उसके पश्चात दिल्ली बम्बे कलकत्ता चाहे रहि मंसूरी में, पढि़-लिखिह कवनो भाषा पतिया भोजपुरिये में सुनाकर सबको भोजपुरिया होने का एहसास कराया। अश्लीलता पर चोट करते हुए भोजपुरी गीतों से अश्लीलता मिटावल जाई सुनाया। उसके पश्चात आराधना सिंह ने नौकरी करे के रहे त काहे कइल शदिया.. सुनाया। सुर संग्राम में अपनी गायकी का लोहा मनवा चुके जुड़वा भाई चन्दन व नन्दन राय ने देवी गीत ये माई हो चमचम चमके मंदिरवा, शेर रखवार बड़ुए ना व नृत्यांगना हीना के साथ काहे खिसियाइल बाडू जान लेबू का हो.. सुनाकर खूब तालियां बटोरी। नवोदित अंजली भारद्वाज ने भी अपनी कला प्रस्तुत की। उसके बाद रुचि भारद्वाज, वर्षा तिवारी, राकेश तिवारी, प्रियंका पायल व सुशील राय ने भी अपनी प्रस्तुति दी जिसे दर्शकों ने सराहा। राकेश तिवारी के गीत पापा के संगे मौसी.. पियवा के भावे कलमतिया नचनिया.. आदि को बड़ी वाहवाही मिली। अंत में गोपाल राय ने अपने नये पुराने गीतों से दर्शकों का खूब मनोरंजन किया। बम्बई तोहरा बाप के ना ह की प्रस्तुति करते हुए उन्होंने पूरे पाण्डाल को रोमांचित कर दिया। उसके पूर्व जोनल कोआर्डिनेटर छट्ठूं राम ने फीता काटकर ददरी महोत्सव का आगाज किया। इस अवसर पर बांसडीह के विधायक शिवशंकर चौहान, डा. इन्दल राम सहित सभी सभासद उपस्थित रहे।

अंजली ने भर दी अंजुरी

बलिया: ददरी महोत्सव में अपनी कला का प्रदर्शन करने आयी नवोदित कलाकार अंजली भारद्वाज ने पूरे ददरी महोत्सव को लूट लिया। नन्हीं जान ने जब-जब लागे ला नीक लागेला बड़ा नीक लागेला, मइया के बिन्दिया लिलार बड़ा नीक लागेला पर सुर साधा तो पूरा पाण्डाल ताली बजाने लगा और जब-जब वह गाई पाण्डाल गूंजता ही रहा।

Sunday, November 22, 2009

घरेलू धंधा समाप्त होने से जटिल हुई बेरोजगारी की समस्या !

बलिया। अस्तित्व खो चुके घरेलू उद्योग धंधों ने लोगों को बेरोजगारी की राह पर खड़ा कर दिया है। उदाहरण के रूप में बीड़ी के कारोबार को लिया जा सकता है। बाजार में प्रतिबंधित सिगरेट, गुटखा व अन्य सामानों के आ जाने से बीड़ी का कारोबार लगभग समाप्त हो चुका है। इस कारोबार से जुड़े लोग मौजूदा समय में बेरोजगार होकर तमाम परेशानियों से जूझ रहे है। यही बात कागजों की थैली बनाने वाले लोगों की भी है जिनके कारोबार को पालीथिन के बढ़ते प्रचलन ने कहीं का नहीं छोड़ा है।

बता दें कि बीड़ी व कागज का थैला बनाना मुख्य रूप से गरीब तबके के लोगों का ही काम था जिससे उनकी रोजी-रोटी आसानी से चल जाती थी। इस तरह के घरेलू धंधों पर आधुनिकता की मार कुछ इस कदर पड़ी कि गरीब तबके के लोग भुखमरी की कगार पर खुद को पा रहे है। पहले बीड़ी का धंधा जोरों पर चलता था। हिन्दू मुस्लिम व प्रत्येक वर्ग के गरीब लोग इस धंधा को पूरी लगन व निष्ठा के साथ करते थे। यह धंधा बड़ी सहजता के साथ हो जाता था इसलिए इस धंधा में पुरुषों के अलावा महिलाएं भी सपिरवार हिस्सा लेती थीं। बीड़ी मुख्यत: तेन्दू के पत्ती से निर्मित होता है। लोग तेन्दू का पत्ता लाते थे और सपरिवार इस पत्ती में तम्बाकू भरने के पश्चात सेकाई करके बीड़ी तैयार कर देते थे। पुरुष वर्ग इसे बाजार में ले जाकर बेचने का कार्य करते थे। लोगों की मानें तो इस धंधा में लागत, मेहनत दोनों कम पड़ती थीं और फायदा ज्यादा होता था लेकिन आधुनिक मादक पदार्थ सिगरेट, तम्बाकू व विभिन्न कम्पनियों के गुटखों के बाजार में आ जाने के कारण लोगों के होठों से बीड़ी कोसो दूर चली गयी। परिणाम स्वरूप बीड़ी व्यवसाय को वर्षों से जीवकोपार्जन का जरिया बनाये गरीब तबके के लोग बेरोजगारी का शिकार होने के कारण भुखमरी के कगार पर पहुंच गये। इसी क्रम में पहले गरीब लोग कागज का थैला बनाकर उसे बाजार में बेंच देते थे। इससे मिले धन से उनके घरों के चूल्हे जला करते थे लेकिन पालीथिन की थैली के प्रयोग ने इनके धंधे को भी मंदा कर दिया। पालीथिन पर्यावरण को प्रदूषित करने में अहम भूमिका अदा कर रही है लेकिन जानकारी के बावजूद इसका प्रचलन बढ़ता ही जा रहा है। यह सच है कि सरकार द्वारा पालीथिन की थैली पर रोक लगाने का निर्देश दिया गया है लेकिन धरातल पर यह फरमान कितना असर दिखा रहा है यह किसी से छिपा नहीं है। सुतरी व पटुआ की रस्सी बनाने के धंधे पर भी ग्रहण लग गया है।

Friday, November 20, 2009

बकरीद: 35 हजार का बकरा बना कौतूहल !

बलिया । इदुलअजहा (बकरीद) की तैयारियां जोरो पर है। ग्रामीण क्षेत्रों से लेकर शहरी क्षेत्रों तक बकरों की खरीद फरोख्त में तेजी आ गयी है। शुक्रवार को शहर क्षेत्र के विशुनीपुर मस्जिद के समीप प्रत्येक वर्ष की भाति बकरों का एक छोटा मेला लगा जहां ग्रामीण व शहरी क्षेत्र के व्यापारियों ने जमकर खरीद फरोख्त की। मेले में 3 हजार से लेकर 35 हजार तक के बकरा थे। कीमती बकरा मेला में कौतूहल का विषय बना था। बता दें कि मुस्लिम समुदाय के लोग इदुज्जुहा के दिन बकरे की बलि देने की परम्परा को बडे़ ही हर्ष उल्लास से मनाते हैं। इसी दिन वे अल्लाह के नाम पर बकरे का जबह करते है। बकरा व्यापारी आजम खां के अनुसार बकरीद की तैयारी ईद के बाद से ही प्रारम्भ हो जाती है। लोग अपने बकरे को कच्चा जौ, चना की भूसी, चोकर, चना, कैल्शियम आदि खिलाकर हिस्ट-पुष्ट बनाते हैं।

राम नाम केस्मरण मात्र से मानव होता पाप मुक्त : ऋचा मिश्रा !

रसड़ा (बलिया), निप्र । राम नाम के स्मरण मात्र से मानव का मन पवित्र हो जाता है तथा उसके पाप नष्ट हो जाते हैं। कलियुग में राम नाम के जप से ही मुक्ति मिल सकती।

उक्त उद्गार मिर्जापुर से पधारी सुश्री ऋचा मिश्रा ने बुधवार को स्थानीय श्रीनाथ मठ पर आयोजित श्रीरामचरित नवाह परायण एवं संत सम्मेलन में श्रद्धालुओं से खचाखच भरे पण्डाल को सम्बोधित करते हुए व्यक्त किया। उन्होंने भगवान राम जानकी विवाह प्रसंग पर बोलते हुए कहा कि भगवान राम श्रद्धा तथा मां जानकी भक्ति की प्रतिमूर्ति हैं। इन दोनों का जब तक संगम नहीं होगा तब तकभगवान राम जानकी के दर्शन नहीं हो सकते। जनकपुर में इन्हीं दोनों शक्तियों के प्रादुर्भाव के कारण भगवान शंकर के धनुष को तोड़ा जा सका तथा भगवान राम जानकी विवाह सम्पन्न हो सका। कहा कि श्री रामचरितमानस ग्रन्थ नहीं बल्कि मानवीय जीवन के लिए एक महा वरदान है और इस ग्रन्थ के राम जानकी विवाह प्रसंग से परिवार में समृद्धि एवं शक्ति स्वमेव प्राप्त हो जाती है।

इसी क्रम में संत कबीर नगर से आये स्वामी वैराग्यानन्द परमहंस ने कहा कि परमात्मा का स्वरूप संसार के कण-कण में व्याप्त होता है किन्तु उनके दर्शन तभी होते हैं जब हम उनके प्रति सच्ची श्रद्धा अर्पित करते है। अन्त में श्रीनाथ मठ के महन्त स्वामी आनन्द गिरि महराज ने आभार व्यक्त किया।

Tuesday, November 17, 2009

प्रभु स्मरण से चित्त रहता प्रसन्न !

प्रभु का सदैव स्मरण करने मात्र से चित्त तो आनन्दित होता ही है, प्रभु से साक्षात्कार होने का भी अवसर प्राप्त होता है।

उक्त विचार कथा वाचक पं. शीतल प्रकाश जी के हैं। वह संत यती नाथ मंदिर परिसर में चल रहे श्रीमद्भागवत कथा के आठवें दिन भक्तों को सम्बोधित कर रहे थे। कहा कि भजन से काम, क्रोध, लोभ, मोह, मद पर विजय मिलेगी। इससे मानव का कल्याण निश्चित है। कहा कि महापुरुषों की गाथाओं को सुनना व पढ़ना भी मानव के कल्याण का मार्ग प्रशस्त करता है।

इस अवसर पर भोला सिंह, छठ्ठूं प्रसाद, राम नारायण सिंह, नन्द जी सिंह, पिण्टू पाण्डेय, गुड्डंन सिंह, तारकेश्वर ठाकुर, अशोक पटेल आदि मौजूद रहे।

बचपन जीवन का स्वर्णिम अवसर : पीसी श्रीवास्तव !

बाल्यावस्था जीवन का स्वर्णिम अवसर होता है और बच्चे अपने भाग्य के स्वयं निर्माता होते हैं इसलिए सभी बच्चों को कठिन परिश्रम, लगन एवं निष्ठा के साथ अपने सम्पूर्ण समय को अध्ययन एवं पाठ्य सहगामी क्रियाओं में लगाना चाहिए ताकि उनका सर्वागीण विकास हो सके और वे देश के सुयोग्य नागरिक बन सकें।

देवस्थली विद्यापीठ चिलकहर में सोमवार को आयोजित प्रतिभा सम्मान समारोह में विद्यालय के प्रधानाचार्य पीसी श्रीवास्तव ने उक्त उद्गार व्यक्त किया। इस अवसर पर विभिन्न परीक्षाओं एवं प्रतियोगिताओं में विशिष्ट स्थान प्राप्त करने वाले विद्यालय के लगभग तीन सौ छात्र, छात्राओं को स्मृति चिह्न एवं अन्य पुरस्कार देकर प्रधानाचार्य ने उन्हे पुरस्कृत किया।

अपने सम्बोधन में प्रधानाचार्य ने कहा कि परीक्षा में सर्वोत्तम अंक एवं उच्चतम श्रेणी पाने वाले बच्चों ने इस संस्था के शैक्षिक गुणवत्ता व सम्मान को बढ़ाया है। इस अवसर पर सर्वप्रथम हाईस्कूल परीक्षा में जनपद में प्रथम स्थान प्राप्त अदनान कफील को प्रधानाचार्य ने स्मृति चिन्ह प्रदान किया जबकि करिश्मा सिंह कक्षा 11, चन्दन सिंह कक्षा 10, प्रशांत सिंह कक्षा 9, आयुषी तिवारी कक्षा 8 को उत्कृष्ट स्थान प्राप्त करने पर प्रतिभा सम्मान पुरस्कार से नवाजा गया। इसके अतिरिक्त कला विज्ञान तथा कम्प्यूटर की परीक्षा में प्रथम स्थान प्राप्ति के लिए लगभग 250 बच्चों को भी पुरस्कृत किया गया। कार्यक्रम का संचालन उप प्रधानाचार्य इन्दु त्रिपाठी ने किया।

दिखावे से हो रहा धर्म का ह्रास : विजय कौशल !

सिकंदरपुर (बलिया) निप्र । संत विजय कौशल जी महाराज ने कहा कि धर्म स्थलों, प्रवचन एवं गंगा में धर्म का दर्शन मिलता है। दिखावा तथा अन्य कारणों से आज धर्म का ह्रास हो रहा है जिसके चलते परिवारों व समाज में नाना प्रकार की बुराईयां फैल रही है। मंगल भवन यात्रा के तहत यहां आपे कौशल जी महाराज स्थानीय सरस्वती शिशु मंदिर के प्रांगण में पूर्व एमएलसी सुदामा सिंह के संयोजन में आयोजित कार्यक्रम में श्रद्धालुओं के बीच रामकथा का प्रवचन कर रहे थे। कहा कि परिवारों में धार्मिकता का जैसा रसमय सुगन्ध होना चाहिए आज वह अनेक कारणों से नहीं है। घर में पूजा-पाठ व बुराई साथ-साथ होने से दुर्गन्ध का वातावरण बना हुआ है। रामायण व गीता का नियमित पाठ करने तथा ध्यानमग्न हो पूजा करने की श्रद्धालुओं को सलाह दी ताकि बुराइयों का नाश हो सके। माता-पिता के चरण को तीर्थ बताया तथा कहा कि व्यवहार, खान-पान, चलना, सोना, जागना, स्वभाव व प्रभाव बदलने से स्वर्ग ही स्वर्ग है। अंत में नशाखोरी, झूठ फरेब व अन्य बुराइयों से बचने तथा पूरे परिवार के साथ बैठकर रात का भोजन करने की सलाह दी। कार्यक्रम को सफल बनाने में भुवाल सिंह, डा.उमेशचंद, अरविंद राय, अनिल कुमार बर्नवाल, राजेंद्र सिंह, बाबूचन कन्नौजिया, संजय पासवान, संतोष सोनी आदि का भरपूर सहयोग रहा।

Monday, November 16, 2009

भोजपुरी गायकों ने रात भर बिखेरा जलवा !

मझौवां (बलिया)। बजरंग दल सेवा समिति मझौवां के तत्वावधान में चल रहे मानस सम्मेलन के समापन में महावीर चबूतरा के पास रविवार की रात भोजपुरी गायक कमलवास कुंवर व अरविंद सिंह अभियंता के बीच शानदार मुकाबला हुआ। शुभारम्भ सपा नेता रामधीर सिंह ने फीता काट कर किया और गायकों व कलाकारों को पुरस्कार भी प्रदान किया। गायकों ने भोजपुरी भक्ति गीतों पर श्रोताओं को झूमने पर मजबूर कर दिया।

उक्त अवसर पर रणवीर सिंह प्रधान, अनिल सिंह पूर्व प्रधान, धर्मवीर सिंह, सुनील सिंह ललन सिंह, महेश्वर सिंह, मुन्ना सिंह, विमलेश सिंह, मस्तान पाठक, सच्चिदानंद सिंह, विक्की, पवन, लोजपा जिलाध्यक्ष विनोद सिंह सहित गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे। संचालन डा. वृजबली सिंह व आभार समिति के अध्यक्ष धर्मेन्द्र सिंह बब्लू ने व्यक्त किया।

Sunday, November 15, 2009

प्रतिभाएं नहीं होतीं किसी सम्मान की मोहताज : राजेश !

बलिया। समाज सेवी राजेश कुमार गुप्त ने कहा है कि प्रतिभाएं विभिन्न बाधाओं को दर किनार करते हुए निखर ही जाती है और ऐसी प्रतिभाएं किसी के सम्मान की मोहताज नहीं होतीं।

स्थानीय बाला जी यशोदा कुंवर अर्जुन विद्यापीठ में शनिवार को आयोजित प्रतिभा सम्मान समारोह के विशिष्ट अतिथि श्री गुप्त ने उपर्युक्त उद्गार व्यक्त किया। इस अवसर पर कलवार जायसवाल सम्मेलन में आयोजित सांस्कृतिक कार्यक्रम में उत्कृष्ट स्थान प्राप्त छात्राओं को सम्मानित किया गया। राजेश ने कहा कि पुरस्कार सृजनशीलता को बढ़ाती है और अपनी प्रतिभा के बल पर ही छात्र-छात्राएं राष्ट्र का गौरव बढ़ाने में सफल होते हैं। कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे रामचन्द्र जायसवाल ने कहा कि ऐसे आयोजनों से बच्चों में कर्तव्य भावनाओं के प्रकटीकरण का अवसर प्राप्त होता है। श्री जायसवाल ने उत्कृष्ट स्थान प्राप्त कुमारी चांदनी, दिव्या, ज्ञानेन्द्र, बिट्टू, सोनी सहित तीस छात्र-छात्राओं को स्मृति चिन्ह प्रदान किया। प्रबंधक अर्जुन जी ने विद्यालय की ओर से प्रोत्साहन स्वरूप उन्हे सम्मानित किया।

इस अवसर पर डा. विवेकानन्द, गनेश जी, सुरेश जी, दिलीप तथा राजेन्द्र सभासद उपस्थित रहे। विद्यालय व्यवस्थापक बलराम जी ने अतिथियों का अभिवादन किया।

अब नहीं चलेगा खेल में खेल : अयोध्या पाल !

बलिया। प्रदेश के खेल मंत्री अयोध्या पाल ने कहा कि खेल में 'खेल' करने वालों को करारा सबक सिखाना होगा। सरकार का प्रयास है कि ग्रामीण खिलाड़ियों को आगे बढ़ाया जाय। इसके लिए ग्रामीण परिवेश में भी स्टेडियम का निर्माण कराने की योजना बनायी गयी है।

मुख्य अतिथि श्री पाल यहां आदर्श इण्टर कालेज में आयोजित अंतर्राष्ट्रीय कुश्ती-दंगल के समापन अवसर पर मौजूद थे। इस शिक्षण संस्थान के बगल में सत्तर लाख की लागत से बनने वाले आदर्श ग्रामीण स्टेडियम का शिलान्यास करने के उपरांत उन्होंने बलिया के वीर लोरिक स्टेडियम में भी सात करोड़ की लागत से तरण ताल बनाने की घोषणा करते हुए पायका योजनांतर्गत राज्य स्तरीय खेलकूद प्रतियोगिता भाग-तीन के तहत बलिया में तीरंदाजी, कबड्डी, वालीबाल प्रतियोगिताएं आयोजित किये जाने की जानकारी दी और कहा कि इसका कार्यक्रम बहुत जल्द निर्धारित कर दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि बलिया में नेशनल कैम्प का भी संचालन किया जाएगा। क्षेत्रीय विधायक भगवान पाठक की अध्यक्षता में सम्पन्न हुए इस आयोजन के दौरान आयोजक छट्ठूं राम ने क्षेत्रीय क्रीड़ा अधिकारी आरपी सिंह, उत्तर प्रदेश कुश्ती संघ के संयुक्त सचिव सुरेश उपाध्याय, लखनऊ कुश्ती संघ के सचिव राजेश कुमार सिंह तथा क्रीड़ा अधिकारी बलिया राजेश सोनकर की मौजूदगी में साफा बांध कर सम्मानित किया। बसपा नेता एचएन पाल व प्रधान संघ के जिलाध्यक्ष दिनेश्वर गिरि द्वारा मुकुट पहनाकर उन्हें सम्मानित किया गया। जिला अस्पताल के वरिष्ठ चिकित्सक डा. पीके सिंह द्वारा उन्हे स्मृति चिह्न देकर सम्मानित किया गया। इस मौके पर विधायक सुभाष यादव, नगर पालिका अध्यक्ष संजय उपाध्याय, पूर्व विधायक सुधीर राय, पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती भारती सिंह, संजय भाई, जगदीश रावत, महफूज आलम, मुक्तेश्वर सिंह, तेज नारायण सिंह, ब्लाक प्रमुख अक्षय लाल यादव, ओम प्रकाश भारती, दीनानाथ भास्कर, फैयाज अहमद, हुकुम सिंह आदि की मंच पर गरिमा मय मौजूदगी उल्लेखनीय रही।

Friday, November 13, 2009

ददरी मेले की रौनक चरम पर, मुख्य चौक जगमगाया !

बलिया। ददरी मेले के ऐतिहासिक मीना बाजार की रौनक अपनी पराकष्ठा पर है। मेले के अंदर प्रतिदिन हजारों की भीड़ देखने को मिल रही है इससे दुकानदारों के चेहरे खिलखिला उठे हैं। मेले का मुख्य चौक रात में जगमगा उठता है। नगरपालिका परिषद हर वर्ष लगने वाले इस मेले को आकर्षक बनाने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ता है। मेले के अंदर दुकानों की आकर्षक सजावट की गयी है। सर्कस, झूला, मौत का कुंआ व वैष्णो देवी का मंदिर आकर्षण का केन्द्र बने हुए हैं। इस मेले में प्रतिदिन ग्रामीण इलाके के काफी संख्या में लोग उतर रहे हैं जिससे मेले की रौनक काफी बढ़ जा रही है। इस मेले में सबसे अधिक खरीददारी महिलाएं करती हैं।

अपनी दैनिक जीवन की वस्तुओं के साथ ही शादी विवाह के सामानों की खरीददारी भी की जा रही है। मेला देखने के लिए गैर प्रांतों से भी लोग आते हैं।

Monday, November 9, 2009

ज्ञान भक्ति वैराग्य के संतुलन से मोक्ष प्राप्ति: अतुल कृष्ण !

बलिया। राम कथा से जीवन में ज्ञान भक्ति और वैराग्य का उदय होता है और तीनों के बीच संतुलन भी स्थापित होता है यह कथा मनुष्य को मोक्ष के द्वार की चाफी प्रदान करती है क्योंकि मानव जीवन ईश्वर की सर्वश्रेष्ठ देन है जिसके लिए देवता भी लालायित रहते हैं। उक्त उद्गार श्रीराम कथा आयोजन समिति द्वारा आयोजित सात दिवसीय श्रीराम कथा के प्रथम दिवस अपने प्रवचन में पूज्य संत मानस मर्मज्ञ अतुल कृष्ण भारद्वाज ने व्यक्त किया। रामलीला मैदान के विशाल पण्डाल में आयोजित विद्या भारतीय सेवा न्यास को समर्पित कथा प्रारम्भ करते हुए अपने सम्मोहनकारी सुमधुर वाणी से श्री भारद्वाज ने राम कथा की विशेषताओं एवं प्रभावों का वर्णन किया। भगवान शिव द्वारा राम कथामृत पान के लिए कैलाश पर्वत से तमिलनाडु के कुम्भ कोड़म में अगत्स्य मुनि के आश्रम में जाने का वर्णन करते हुए उन्होंने कहा कि अनन्य ज्ञानी कुम्भज ऋषि की पात्रता को देखकर भगवान शंकर ने उन्हे दक्षिणा स्वरूप भक्ति प्रदान किया। इसके पूर्व श्री भारद्वाज के नगर में प्रवेश करते ही टाउनहाल के मैदान से एक विशाल शोभा यात्रा निकाली गयी जिसमें हजारों स्त्री-पुरुष श्रद्धालु शामिल हुए। कलश यात्रा में विभिन्न विद्यालयों के छात्रों ने बैण्ड बाजों के साथ भाग लिया। शोभा यात्रा में लक्ष्मण सिंह, गणेश शंकर गुप्त, राम गोपाल अग्रवाल, अनिल कुमार सिंह, विजय बहादुर सिंह, जय प्रकाश नारायण सिंह, डा. विनोद कुमार सिंह, संजय शुक्ल, शिवकुमार जी जैसे प्रमुख लोग भी शामिल थे।

हाइटेक हुआ ददरी मेला, टीबी, मोबाइल-कम्प्यूटर के लगे स्टाल !

बलिया। महायज्ञिक परम्परा से शुरू हुआ महर्षि भृगु की तपोभूमि पर ऐतिहासिक मेला ददरी अब जमाने की रंगत के साथ हाइटेक हो गया है। जहां पहले संत महात्माओं के समागम के साथ ही वेद की ऋचाओं और देव प्रस्तुतियों के महामंत्रों से पूरा माहौल गुंजायमान रहता था वहां अब इनके साथ ही मोबाइल फोन, टीबी सेट और कम्प्यूटर, कम्प्यूटर शिक्षा के स्टालों के माध्यम से गांव की जनता को भी इनके महत्व समझाये जा रहे है। वहीं इनकी उपयोगिता और इससे होने वाले नफा-नुकसान के बारे में भी विस्तृत जानकारियां मुहैया कराकर लोगों को आकर्षित किया जा रहा है।

महर्षि भृगु के परम शिष्य दर्दर मुनि के नाम पर लगने वाला ऐतिहासिक ददरी मेला वैसे तो ऋषि मुनियों के नाम से जाना जाता है लेकिन बदलते परिवेश में मेले के स्वरूप में भी बदलाव होने लगा है। मेले में परम्परागत सामानों की बिक्री के साथ ही आधुनिक युग के भी माल मेले में दिखायी पड़ने लगे हैं। यहां तक कि कम्प्यूटर युग के सभी सामान भी मेले के अंदर इस वर्ष से दिखायी पड़ रहे हैं।

कार्तिक पूर्णिमा के दिन से हर वर्ष लगने वाले इस मेले में अधिकांश जनता ग्रामीण इलाकों से आती है। इस मेले की सबसे बड़ी पहचान यह है कि इसमें दो तरह की जनता आती है। सुबह दस बजे से शाम 6 बजे तक ग्रामीण क्षेत्र की जनता मेले में आती है। शाम से शहर व आस-पास के लोग मेले के अंदर आते है। इसमें हर तरह के सामान व खाने-पीने की वस्तु मिलती है जिसका लोग आनंद लेते है। इसके साथ ही सर्कस, झूले, नौटंकी जैसे कार्यक्रम मनमोहक होते है। बदलते परिवेश में मेले में कम्प्यूटर व मोबाइल ने भी जगह बना लिया है। कम्प्यूटर के बारे में दुकानों पर लोगों को पम्पलेट के माध्यम से उसका महत्व व उपयोगिता के बारे में बताया जा रहा है। दुकानदार संजीव कुमार ने बताया कि मेले में इसका काफी फायदा होता है। एक तो गांव से आयी जनता को पम्पलेट के माध्यम से जानकारी दी जाती है। दूसरा आसानी से प्रचार-प्रसार हो जाता है। मोबाइल फोन के दुकानदार प्रभुनाथ ने बताया कि मेले में इस काउण्टर पर लोग आकर जानकारी प्राप्त करने के साथ ही खरीदारी भी कर रहे है। इनको मोबाइल फोन से होने वाले फायदे के बारे में बताया जाता है। हम सबका उद्देश्य गांव स्तर पर आधुनिक चीजों को पहुंचाना है। इसका बेहतर माध्यम भी यह मेला है।

खुल रहे विलेज लेबल कोर्ट, डोर-टू-डोर मिलेगा न्याय !

बलिया। शासन द्वारा गरीबों के लिए जो तमाम योजनाएं लागू की जा रही हैं वे उन तक पहुंच रही हैं या नहीं, कौन सा आदमी उक्त लाभ से वंचित हो रहा है उसके लिए जनपद की प्रत्येक तहसील में क्लीनिक एड की व्यवस्था की गयी है। इस क्रम में पांच हजार विलेज लेबल कोर्ट खुल रहे हैं जिसका कार्य 2 अक्टूबर 2010 से शुरू हो जायेगा, डोर टू डोर जस्टिस होगा। उक्त उद्गार जिला एवं सत्र न्यायाधीश आरपी शुक्ल ने दीवानी न्यायालय के सेन्ट्रल हाल में राष्ट्रीय विधिक सेवा दिवस के अवसर पर व्यक्त किये। इससे पूर्व जिला जज ने अपर सत्र न्यायाधीश द्वितीय कुशल पाल सिंह व अन्य न्यायिक अधिकारियों के साथ मां सरस्वती के चित्र के समक्ष दीप प्र“वलित कर शिविर का उद्घाटन किया। इस मौके पर अपर सत्र न्यायाधीश प्रथम जेके सिन्हा, तृतीय राधेश्याम सिंह, चतुर्थ जज एके झा, जेएम प्रथम एके गौतम, पूर्वी मुंसिफ आजाद सिंह, पश्चिमी अरुण कुमार, डीपी सिंह व राजेश मिश्रा मौजूद रहे। जिला जज ने अपने उद्बोधन में कहा कि जिस गरीब कुनबे को सरकारी योजनाओं का लाभ नहीं मिल रहा है आप संकल्प लें कि किसी तरीके से उसे हर हालत में लाभ मिले। यही वास्तव में राष्ट्रीय विधिक सेवा दिवस का उपयोग होगा। इससे पूर्व सचिव प्राधिकरण सीजेएम पीपी सिंह यादव, फास्ट ट्रैक कोर्ट नम्बर दो के जज बच्चू सिंह, गिरिजाशंकर सिंह (पूर्व विशेष मजिस्ट्रेट), कौशल कुमार सिंह (पूर्व अध्यक्ष क्रिमिनल बार), लक्ष्मण यादव, सुभाष चन्द्र पाण्डेय, अजीत सिंह, मुंशी लाल आजाद (प्रथम जज फास्ट टै्रक) ने पंचायती राज्य व्यवस्था, प्रीलिटिगेशन, न्याय पालिका पर बढ़ रहे बोझ समेत राष्ट्रीय विधिक दिवस 9 नवम्बर 1987 को कैसे लागू हुआ आदि बिन्दुओं पर विस्तृत चर्चा की। उन्होंने आह्वान किया कि जस्टिस पीएन भगवती की सोच को मूर्त रूप दिया जाए। कार्यक्रम का संचालन अनिल कुमार ने किया।

Sunday, November 8, 2009

ददरी मेला : वाकई लगा आज संडे है !

बलिया। ददरी के ऐतिहासिक मेले के अंदर रविवार को छुट्टी का दिन होने के कारण जनता की भीड़ पूरे दिन रही। लोगों ने परिवार के साथ मेले का लुत्फ उठाने के साथ ही खरीदारी भी की। सबसे अधिक भीड़ झूला, जादूगर व संगीत नृत्य कला स्टाल के पास रही। संगीत नृत्य पर युवाओं की भीड़ देखी गयी।

नगर के दक्षिणी छोर पर लगे इस मेले में वैसे तो प्रतिदिन भीड़ होती है लेकिन छुट्टी का दिन होने के कारण ज्यादातर लोग परिवार के साथ मेले में गये। बच्चे झूले पर चढ़ने के लिए आतुर दिखे। सर्कस, जादूगर व मौत के कुएं पर भीड़ रही। सुबह से ही मेले में ग्रामीण इलाके के लोग पहुंचने लगे थे। दुकानदार भी अपनी तैयारी इस दिन के लिए विशेष रूप से किये थे। शाम होते-होते ग्रामीण इलाके की भीड़ मेला देख व खरीदारी कर वापस लौट गयी। इसके बाद नगर सहित आसपास के लोगों की भीड़ मेले के अंदर पहुंच गयी जो देर रात तक चलती रही। मेले में भीड़ को देखते हुए पुलिस प्रशासन ने तगड़ी सुरक्षा का इंतजाम किया था। सदर कोतवाल जहां मेले में आने वाले अराजकतत्वों पर नजर रखे हुए थे वहीं मेला प्रभारी अजीत सिंह व गुण्डा दमन इंचार्ज सत्येंद्र सिंह यादव अपने हमराहियों के साथ भ्रमण करते रहे। नगर पालिका चेयरमैन संजय उपाध्याय भी भीड़ को देखते हुए अपने सहयोगियों के साथ मेले में डटे रहे।

मां के दर्शन के लिए उमड़ी भीड़

बलिया: ददरी मेले के मीना बाजार में स्थापित मां वैष्णो देवी के मंदिर का दर्शन करने के लिए हर कोई उतावला दिखा। जम्मू की वादियों में स्थापित मां के मंदिर को मूर्त रूप देने का प्रयास कर एक अस्थायी मंदिर का निर्माण किया गया है। इसमें ठीक वैसे ही चढ़ाई से मां का दर्शन होना है मां के दर्शन के लिए महिलायें व बच्चे कतार लगाये रहे।

हर परिस्थिति से मिलती है जीने की कला: बाल व्यास !

बलिया। जीवन में सुख-दुख समेत हर पल मानव को जीने की कला सिखाता है। विषम परिस्थितियों में भी प्रभु को भजने वाला ही विरक्ति व मोक्ष को प्राप्त करता है क्योंकि भगवान तो स्वयं मानव के धैर्य, श्रद्धा व भक्ति की पल-पल परीक्षा लेते रहते हैं।

उक्त बातें स्थानीय रामलीला मंच पर जारी संगीतमय श्रीमद्भागवत कथा का व्याख्यान करते हुये वृंदावन के विख्यात बाल व्यास प्रवीण कृष्ण जी महाराज ने कही।

अपने संगीतमय व्याख्यान व कथा के छठवें दिन रविवार की देर शाम बाल व्यास ने भगवान श्री कृष्ण के जन्म की धूम के बाद गोपियों संग भगवान कृष्ण की रासलीला का संगीतमय चित्रण किया। इसके श्रवण मात्र से ही सैकड़ों की संख्या में मौजूद महिलाएं व श्रोता-श्रद्धालु, गोपियों व कृष्ण भक्त की भांति भक्ति सागर में झूमने लगे।

वहीं वृंदावन छोड़ मथुरा जा रहे कृष्ण कथा के जीवंत चर्चा मात्र से ही वियोग में वृंदावन के गोपियों की अविरल अश्रुधारा बहने लगी। मथुरा पहुंच भगवान कृष्ण ने कंस व जरासंध वध के साथ ही समुद्र के अंदर सोने की द्वारिका बनायी एवं कुंदनपुर के महाराज की पुत्री रूक्मिणी के साथ विवाह रचाया।

उक्त अवसर पर संस्कृत मूल पाठ कर्ता पं. धनू उपाध्याय, अनूप जी, प्रदीप जी, प्रभात जी के अलावा आयोजन समिति सदस्य अनिल कुमार गुप्ता, अमरनाथ गुप्ता, त्रिलोकी नाथ, अंजनी, रमाकांत, मोहन मद्धेशिया, राकेश चौरसिया व मोहन वर्मा, विनय प्रकाश डेविड, बजरंग लाल अग्रवाल, लाला केदारनाथ व डा. परशुराम आदि शामिल थे।

राष्ट्र की आधारशिला है मातृशक्ति: अक्का !

बलिया। मातृशक्ति देश की आधार शिला होती है। शिक्षित नारियां न सिर्फ अपने परिवार वरन सम्पूर्ण समाज को स्वस्थ खुशहाल एवं उन्नतिशील बना सकती हैं। उक्त बातें स्थानीय सरस्वती बालिका विद्या मंदिर के प्रांगण में सरस्वती ताई आण्टे जन्म शताब्दी समारोह में बंगलोर निवासिनी राष्ट्र सेविका समिति की प्रमुख कार्य वाहिका शांता अक्का ने कहीं। इससे पूर्व समारोह स्थल पहुंचने पर उपस्थित शिक्षक-शिक्षिकाओं द्वारा पुष्प वर्षा कर इनका स्वागत किया गया। अक्का ने दीप प्रज्ज्वलित कर कार्यक्रम का शुभारम्भ किया। इस अवसर पर राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के विभाग प्रचारक श्री प्रकाश जी, जिला प्रचारक बैरिस्टर जी, नगर प्रचारक संजय जी उपस्थित रहे। कार्यक्रम की अध्यक्षता मंजू अग्रवाल ने की। अन्त में प्रधानाचार्य श्रीमती गायत्री राय ने उपस्थित सभी लोगों के प्रति आभार व्यक्त किया।

Saturday, November 7, 2009

ददरी मेला : बदलाव संग जारी है भृगु कालीन परम्परा !

बलिया। तारीख गवाह है कि हर काल खण्ड में अपने उत्कृष्ट कार्यों, स्मरणीय अवदानों से जनपद ने राष्ट्रीय फलक पर अपनी विशिष्ट पहचान बनाई है। पौराणिक काल से ही इस विमुक्त क्षेत्र को अति महत्ता मिली हुई है। अति विशिष्ट याज्ञिक आयोजनों की चली आ रही परम्परा और जन समागम आज भी ददरी मेले के रूप में अपनी अलग पहचान बनाए हुए है। कार्तिक पूर्णिमा से विशेष स्नान, गंगा तट पर कल्पवास, पूर्णिमा की पूर्व संध्या पर महाआरती आदि आयोजनों के साथ ही मेले में लगने वाले पशु मेले और मीना बाजार से जहां प्रदेश से इतर व्यापारी आर्थिक उपार्जन करते हैं वहीं स्थानीय और समीपवर्ती जिलों के लोग भी अपनी जरूरत का सामान सुविधा से लाते हैं।

कार्तिक मास में संतों व महात्माओं के लिए तीन सबसे महत्वपूर्ण स्थलों का महत्व पूरे विश्व में माना गया है। इनमें कुरुक्षेत्र, हरिहर क्षेत्र के साथ ही भृगु क्षेत्र भी शामिल है। इन क्षेत्रों में कार्तिक मास में नदी तटों पर साधु संत कल्पवास करते हैं। इनमें भी भृगु क्षेत्र का अलग महत्व है। भृगु की इस तपो भूमि पर हर वर्ष कार्तिक भर गंगा व सरयू का इलाका गुलजार रहता है। कार्तिक पूर्णिमा के बाद यह क्षेत्र पूरी तरह से रमणीय हो जाता है। महर्षि भृगु के प्रिय शिष्य दर्दर मुनि के नाम से लगने वाला यह ऐतिहासिक मेला भी एक माह तक चलता है। नगर के दक्षिणी छोर पर लगने वाला यह मेला दो भाग में चलता है। शुरूआत में पशुओं के लिए नंदी ग्राम की स्थापना की जाती है। कार्तिक पूर्णिमा स्नान के दिन से ही मीना बाजार की स्थापना हो जाती है जिसमें दूर-दराज के व्यापारी आते हैं।

जनश्रुतियों के अनुसार यह मेला ऋषि-मुनियोंकी तपोस्थली के रूप में जाना जाता था। महर्षि भृगु ने यहीं गंगा तट पर तपस्या की थी। लोक हितकारी कार्य के निर्विघन् पूर्ण होने से हर्षित भृगुजी ने इस विमुक्त क्षेत्र स्थित अपने आश्रम पर एक विशाल यज्ञ का आयोजन किया जिसमें भारतवर्ष के ऋषि-मुनि, देव-दैत्य-दानव-यक्ष- गन्धर्व- रंक-भूपति तीर्थों को आमंत्रित किया गया। पूरे एक माह तक चले इस विराट महायज्ञ में भारी जन समागम हुआ। इस महायज्ञ की पूर्णाहुति कार्तिक पूर्णिमा की उस तिथि पर हुई जब सूर्य तुला राशि में रहा। इससे यह भू-भाग ऊर्जा से भर गया। महर्षि भृगु की इस परम्परा को उनके परम शिष्य महामुनि दर्दर व उनके बाद के ऋषि मुनियों ने जारी रखा। वह परम्परा आज भी कायम है। त्रेता व द्वापर युग में यह भू-भाग सूर्य मण्डल के उत्तर कोशल राजवंश के अवध-काशी एवं मगध-वैशाली राज्यों का सीमांत क्षेत्र था। ददरी मेले में इन चारों राज्यों के राजा व प्रजा जन आते थे। यज्ञ प्रवचन से लेकर सम्पूर्ण व्यवस्था ऋषि मुनियों के सानिध्य में गुरुकुल के बटुक, परिजन सम्भालते थे। सन् 1773 ई. से 1764 ई. तक इस क्षेत्र को काशीराज बलवंत सिंह का संरक्षण मिला। सन् 1739 में 29 दिसम्बर को भृगु क्षेत्र ईस्ट इण्डिया कम्पनी के अधीन हुआ। एक नवम्बर 1879 ई को जब बलिया जिला बना तो इस मेले की सारी व्यवस्था जिलाधीश की देख रेख में होने लगी। अब नगर पालिका परिषद इसकी सारी व्यवस्था करता है। ददरी मेला भारत के प्रसिद्ध पशुमेला स्नान पर्व से दस दिन पहले लगता है। इसमें उन्नत नस्ल की गाय, भैंस, बैल, बछडे़, घोड़े, गदहे, खच्चर आदि क्रय-विक्रय के लिए आते हैं। कार्तिक पूर्णिमा स्नान कर लाखों श्रद्धालु महर्षि भृगु, दर्दर, बाल्मीकि, बाबा बालेश्वर नाथ का दर्शन-पूजन करते हैं। इसी दिन से मीना बाजार का मेला शुरू हो जाता है। इसमें विभिन्न तरह के सांस्कृतिक, आध्यात्मिक कार्यक्रमों का भी आयोजन होता है। साथ ही सर्कस, नौटंकी, झूला, चर्खी व खेल तमाशे भी इस मेले की रौनक बढ़ा देते है।

विद्यासागर तिवारी, सुधीर तिवारी


ददरी मेले में कार्यक्रम

दंगल 7 नवम्बर को, खेलकूद 7 से 11 नवम्बर तक, कव्वाली एवं सम्मान समारोह 11 को, लोकगीत 14 को, मुशायरा 17 को, ददरी महोत्सव 22 को तथा समापन 22 नवम्बर को होगा।

Thursday, November 5, 2009

महिलाओं को स्वावलम्बी बनाना समय की मांग : ईओ !

बलिया। नगर क्षेत्र के महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने हेतु नगरीय विकास अभिकरण (डूडा) की ओर से संचालित समितियां निश्चित रूप से मील का पत्थर साबित होंगी। आने वाले दिनों में नगर क्षेत्र की महिलाओं को अपनी आवश्यक्ताओं के लिए किसी के सामने हाथ फैलाना नहीं पड़ेगा वह भी पुरुषों की भांति ही स्वावलम्बी हो सकेंगी।

उक्त बातें अधिशासी अधिकारी नगर पालिका रमेशचंद सिंह ने गुरुवार को नगर के एक लाज में आयोजित समितियों के गठन कार्यक्रम में बतौर अतिथि बोलते हुए कही। श्री सिंह ने कहा कि आज के समय की यह मांग है कि महिलाओं को सम्मान मिले। इससे पूर्व लाज में इकट्ठी लगभग दो सौ महलाओं के बीच विभिन्न क्षेत्र की समितियों के पदाधिकारियों का निर्वाचन हुआ। बालेश्वर बाबा सामुदायिक विकास समिति के लिए कु.हीरा को अध्यक्ष, शास्त्री नगर एवं भृगु मुनि सामुदायिक विकास समिति के अध्यक्ष पद पर माया सिंह का निर्वाचन हुआ। इस अवसर पर अमरदेव सिंह चौहान डूडा, मुन्नी देवी सभासद, संजय सिंह, कन्हैया चौबे सहित दर्जनों लोग उपस्थित रहे।

Wednesday, November 4, 2009

ददरी मेले की रौनक बढ़ा रहीं सजी दुकानें!

बलिया। भृगु की नगरी में लगने वाले ऐतिहासिक ददरी मेले में बाहर से आये तथा स्थानीय व्यापारी अपनी-अपनी दुकानों को पूर्णत: तैयार करके मेले की रौनक में चार चांद लगा चुके हैं पर उन्हे इंतजार है देखने खरीदने वालों का। सभी दुकानदार अगली छुट्टी के इंतजार में हैं क्योंकि उनको पता है कि छुट्टी के दिन आने वाली भीड़ से ही मेला पूर्ण शबाब पर आयेगा। जहां मेले में दो रुपये हर एक माल से लेकर 25 रुपये हर एक माल तक का समान मिल रहा है वहीं सर्कस, झूले, मौत का कुंआ, खाने-पीने आदि की अनेक दुकानें लगी हैं। जबकि मेले में आये जादूगर अपना जादू दिखाने के लिए बच्चों की छुट्टियों के इंतजार में हैं। कहीं मेले में विज्ञान का नया चमत्कार आठ फीट के टैक में जिंदा जलपरी का प्रोग्राम दिखाया जा रहा है तो कहीं जादूगर भारत सरकार की तरफ से रूप बदलने वाली लड़की का जादू दिखाया जा रहा है। बच्चों के लिए इस बार मेले में झूला, वैष्णो मां का मंदिर, सर्कस, खिलौने की दुकानें आदि के बाद घूमते-घूमते भूख लगने पर खाने के लिए जुहू चौपाटी की भेलपूरी की दुकान, जलेबी, छोले, आइसक्रीम आदि है। पौधों की नर्सरी भी लग चुकी है। बस इंतजार है उस आने वाली भीड़ की जिससे मेला अपने वास्तविक गति को पकड़ ले।

Monday, November 2, 2009

कार्तिक पूर्णिमा पर लाखों ने लगाई गंगा में डुबकी !

बलिया। कार्तिक पूर्णिमा के पावन अवसर पर महावीर घाट संगम तट पर सोमवार को भोर में लाखों लोगों ने गंगा में डुबकी लगायी। इसके बाद महर्षि भृगु व बाबा बालेश्वर नाथ के मंदिरों में मत्था टेका। साथ ही दान-पुण्य भी किये। स्नान-ध्यान के बाद स्नानार्थियों ने ददरी मेले का भी आनंद उठाया। नगर के विभिन्न क्षेत्रों से श्रद्धालु रविवार की शाम से ही संगम तट की तरफ रुख कर लिये थे। यह क्रम अगले दिन दोपहर बाद तक चलता रहा। इस बार गंगा में लगभग दस लाख से अधिक लोगों ने डुबकी लगायी। संगम तट पर जिलाधिकारी सेंथिल पाण्डियन सी व पुलिस अधीक्षक चंद्र प्रकाश नहान के अंतिम दौर तक डटे रहे।

कार्तिक पूर्णिमा पर स्नान के लिए जनपद एवं गैर जनपद से लोगों का जत्था एक दिन पूर्व से ही गंगा तट पर पहुंचने लगा था। बच्चे, बूढ़े, महिलाओं व युवा सबका एक ही मकसद रहा संगम तट पर गंगा में डुबकी लगाना। स्थिति ये रही कि लोगों ने आधी रात बाद से ही स्नान करना शुरू कर दिया। श्रद्धा, भक्ति में डूबी महिलायें मांगलिक गीत गाते हुए गंगा तट पर पहुंचीं। श्रद्धालु अपने ग्रुप की पहचान के लिए हाथों में पताका लिये हुए थे। स्नानार्थियों ने स्नान के बाद बाबा भृगु व बालेश्वर नाथ का दर्शन करके जलेबी, सत्तू, मूली का भी स्वाद लिया। प्रशासन के लिए राहत वाली बात यह रही कि जनता कई रास्ते से घाटों तक पहुंची। संगम तट पर जिलाधिकारी सेंथिल पाण्डियन सी, पुलिस अधीक्षक चन्द्र प्रकाश, अपर पुलिस अधीक्षक महात्मा प्रसाद, अपर जिलाधिकारी एके द्विवेदी, सिटी मजिस्ट्रेट कृष्णदेव तिवारी, सीओ गंगा राम, चिरंजीव मुखर्जी, नगरपालिका परिषद के चेयरमैन संजय उपाध्याय, ईओ रमेशचंद्र सिंह सहित सारे अधिकारी जमे रहे।

बैरिया प्रतिनिधि के अनुसार कार्तिक पूर्णिमा के अवसर पर सोमवार को द्वाबा के शिवपुर, बहुआरा, दोकटी, सती घाट, भुसौला, शुक्लछपरा, मझौवां, दुर्जनपुर, पचरूखिया, नौरंगा गंगा घाटों सहित मांझी स्थित सरयू घाट पर श्रद्धालुओं ने डुबकी लगाई। पवित्र नदियों में स्नान करने के बाद श्रद्धालुओं ने विभिन्न मन्दिरों में पूजन अर्चन किया।

गंगा मुक्ति चेतना रथ का भव्य स्वागत !

बलिया। गंगा मुक्ति चेतना रथ का क्षेत्र के विभिन्न गांवों में रविवार को भव्य स्वागत किया गया। साथ ही गंगा मुक्ति अभियान को तेजी से चलाने पर जोर दिया गया। इस अवसर पर गंगा मुक्ति एवं प्रदूषण विरोधी अभियान के राष्ट्रीय प्रभारी रमाशंकर तिवारी ने कहा कि सरकार ने कुचक्र में पतित पावनी गंगा को टेहरी में कैद कर दिया गया है। अगर समय रहते गंगा को मुक्त नहीं किया गया तो देश का हर बच्चा आंदोलन के लिए सड़क पर होगा। यही समय है कि द्वाबा की जनता इस अभियान में बढ़चढ़ कर हिस्सा ले। इस पर सैकड़ों लोगों ने हाथ उठाकर इस अभियान को सफल बनाने का आश्वासन दिया।

इस अवसर पर गंगा मुक्ति चेतना रथ के क्षेत्रीय प्रभारी प्रमोद कुमार तिवारी, रमाशंकर पांडेय, योगेन्द्र उपाध्याय, मुन्ना स्वर्णकार, जितेन्द्र कुमार सिंह, मनदेव राम सहित दर्जनों गंगा भक्त उपस्थित थे।

Sunday, November 1, 2009

हम स्वतंत्र तो गंगा क्यों रहें बंधन में: अविमुक्तेश्वरानंद !

बलिया। ज्योतिषपीठ और शारदापीठ द्वारका के शंकराचार्य स्वामी स्वरूपानंद सरस्वती की प्रेरणा से उनके शिष्य और उत्तराधिकारी स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती ने गंगा सेवा अभियान के तहत स्थानीय भृगु मंदिर से गंगा मुक्ति संग्राम का बिगुल फूंका। भृगु मंदिर से जन जागरण रैली बापू भवन पहुंची जहां स्कूली बच्चों को स्वामी जी ने गंगा मुक्ति का संकल्प दिलाया।

स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद ने बच्चों को सम्बोधित करते हुए कहा कि स्वतंत्रता हर व्यक्ति के हृदय की आवाज है जो स्वतंत्रता हमें अभीष्ट है वह दूसरों को भी मिले। गंगा हमारी माता हैं। आज वह बांधों के बंधन में हैं। जाने कितने बांध अभी प्रस्तावित हैं यदि वे बन जायेंगे तो गंगा एक गंदे नाले के रूप में रह जायेंगी। गंगा का अस्तित्व समाप्त हो जायेगा। कहा कि बलिया के लोगों ने जैसे आजादी का बिगुल फूंककर देश को आजाद किया उसी तरह गंगा मुक्ति का संग्राम भी बलिया से प्रारम्भ हो रहा है।

इस अवसर पर स्वामी परिपूर्णानंद सरस्वती ने कहा कि 'गंग सकल मुद मंगल मूला' जितने तरह की खुशियां है वह गंगा दे सकती है। गंगा-गंगा जो कोई कहे, नंगा भूखा कभी न रहे। यह जन सैलाब देखकर लगता है यह नन्हे मुन्ने बच्चे यह संदेश दे गये है कि गंगा एक दिन प्रदूषण और बांधों से जरूर मुक्त होगी। सभा को सुरेन्द्र यादव, छोटेलाल सिंह, सेवासद पंकज मिश्र, हरिकेश यादव, मुनचुन सिंह, गोरख सिंह, अशोक गुप्ता, सियाराम गुप्ता, दीपू वर्मा आदि ने भी सम्बोधित किया।

जागरण रैली को सफल बनाने में जिन विद्यालयों ने शिरकत किया उसमें राधाकृष्ण एकेडमी, नागाजी सरस्वती शिशु मंदिर, शक्ति स्थल हाईस्कूल, पार्वती शिक्षा निकेतन, आरके कम्प्यूटर इंस्टीटयूट आदि शामिल रहे। अंत में गंगा सेवा अभियान के राष्ट्रीय प्रधान ने विशेष रूप से राधाकृष्ण एकेडमी के प्रबंधक आदित्य मिश्र तथा रमाकांत चौटाला, जयबहादुर यादव, बुद्धु राम तथा बलिया के प्रबुद्ध जनों के प्रति कृतज्ञता जाहिर किया।

Friday, October 30, 2009

प्रबोधिनी एकादशी: हजारों ने लगायी गंगा में डुबकी!

बलिया। कार्तिक माह के तो प्रत्येक दिन का खास महत्व है मगर प्रबोधिनी एकादशी के दिन की बात कुछ और है। गुरुवार को प्रबोधिनी एकादशी के महात्म्य को पाने के लिये श्रद्धालुओं ने भारी तादाद ने गंगा में डुबकी लगाई और नगर के विभिन्न मंदिरों में मत्था टेका। प्रात: काल से नगर क्षेत्र समेत देहात से आने वाले भारी संख्या में ग्रामीणों ने विभिन्न गंगा घाटों कीनाराम बाबा घाट, शिवरामपुर घाट, महावीर घाट, मझौवां घाट सहित विभिन्न स्थानों पर गंगा में डुबकी लगाई और पुण्य लाभ प्राप्त किया। स्नान करने वालों में पुरुषों की अपेक्षा महिलाओं की संख्या ज्यादा रही। गंगा स्नान के बाद श्रद्धालुओं ने नगर क्षेत्र के विभिन्न मंदिरों भृगु मंदिर, बालेश्वर मंदिर, चित्रगुप्त मंदिर, हनुमान गढ़ी, दुर्गा मंदिर में पूजा अर्चन की तथा मत्था टेका। बहुतायत लोगों ने प्राबोधिनी एकादशी का व्रत भी किया और दिन भर उपवास रखा।

तनाव को देख खुली बैठक स्थगित!

बलिया। क्षेत्र के छितौनी गांव में बुधवार को रिक्त कोटे की दुकान के आवंटन हेतु उप जिलाधिकारी बांसडीह के निर्देश पर खुली बैठक आहूत की गयी थी परन्तु ग्राम सभा के दोनों पक्षों में आपसी तनाव को देखते हुए इसे स्थगित कर दिया गया। बुधवार को ग्राम सभा छितैनी में पूर्व कोटेदार शिव प्रसाद पासवान के मृत्यु के पश्चात कोटे की दुकान रिक्त हो गयी थी जिसके

आवंटन के लिये प्रधान शाबरा बेगम के पक्ष से राजकुमार पासवान ने और पूर्व प्रधान राम जी सिंह के पक्ष से राजू पासवान ने आवेदन किया था। इस मामले को संज्ञान में लेते हुए एसडीएम बांसडीह ने जिलाधिकारी के पत्रांक संख्या 202 के अनुपालन में कोटे की दुकान का आवंटन करने के लिए किसी सार्वजनिक स्थल पर खुली बैठक आहूत की थी परन्तु दोनों पक्षों में बैठक के लिये स्थान के निर्धारण को लेकर विवाद बना रहा। प्रधान पक्ष के लोग गांव में स्थित बारात भवन पर इस बैठक को सम्पन्न कराना चाहते थे जबकि पूर्व प्रधान के पक्ष के लोग उक्त बैठक को प्राथमिक विद्यालय पर कराना चाहते थे। दोनों पक्षों में आपसी तनाव के मद्देनजर उप जिलाधिकारी बांसडीह ने किसी अप्रिय घटना को रोकने के लिये खण्ड विकास अधिकारी मनियर को आदेशित कर तत्काल प्रभाव से बैठक को स्थगित करने के लिये कहा। इस मौके पर थाना मनियर के दो नायब व दर्जनों सिपाही शांति व्यवस्था को बनाये रखने के लिये मौजूद थे। इसके अलावा मौके पर एडीओ पंचायत अवधेश पाण्डेय व सचिव श्रीकांत उपाध्याय भी मौजूद रहे।

Tuesday, October 27, 2009

माया नगरी में आया हूं इंसानियत को जिन्दा रखने : देव सिंह!

बलिया । इंसान की किस्मत भी क्या खूब होती है। कोई अपनी प्रतिभा के बलबूते अचानक अपनी मंजिल हासिल कर लेता है तो बहुतेरे अथक परिश्रम के बाद भी अपेक्षित मुकाम तक नहीं पहुंच पाते। बलिया के देव सिंह इस मायने में मुकद्दर का सिकंदर ही कहलाएंगे। ख्वाब देखे थे चार्टर्ड अकाउन्टेट बनने की लेकिन किस्मत ने पहुंचा दिया माया नगरी में। थियेटर की कड़ी मेहनत रंग लायी और हथिया लिये 'डिटेक्टिव करण' समेत ढेर सारे टीवी सीरियल व फिल्में। आज आलम ये है कि लम्बी व मजबूत कद काठी वाला यह शख्स भोजपुरी समेत कई हिन्दी फिल्मों में खलनायक के किरदार को बखूबी निभाते हुए रुपहले पर्दे पर ऊंचाइयां छूने को आतुर है। पैसे की चाह नहीं बस तमन्ना एक ही इंसानियत को जिन्दा रखते हुए बागी भूमि का नाम रोशन करने की।

वर्दमान यूनिवर्सिटी से वाणिज्य में स्नातक करने के बाद देव ने कोलकाता से सीए करना शुरू किया लेकिन मिमिक्री व एंकरिंग के शौक ने उनका यहां भी पीछा नहीं छोड़ा और दोस्तों के प्रोत्साहन पर पहुंच गये देश की राजधानी दिल्ली में। थियेटर करने के ही दौरान प्रतिभा उजागर हुई और धड़ाधड़ मिलने लगे टीवी सीरियलों में काम। कुछ ही दिनों में हथिया लिये डिटेक्टिव करण, तलाक क्यों, क्राइम पेट्रोल, महिमा शनि देव की, रामायण, जीवन साथी, बालिका वधू, विक्रम-बेताल जैसे सीरियल और इनमें अपनी प्रतिभा का लोहा भी मनवाया। इसी बीच अंचरा के मोती, पतलुआ रिक्शे वाला, दीवाना जैसे फिल्मों में भी हुनर दिखाने का मौका मिला। देव को इंतजार है अपनी आने वाली भोजपुरी फिल्म 'प्रेमरोग' का। मंगलवार को जनपद के सहतवार निवासी इस शख्स ने अपनी कामयाबी का श्रेय पिता हरि नारायण सिंह को दिया। कहा उसे कामयाबी हासिल हुई तो वह बड़ों के आशीर्वाद व दोस्तों के सहयोग से

संकुचित दृष्टिकोण व हैण्डपम्प कल्चर ने खत्म किया पोखरों, तालाबों की !

सिकंदरपुर (बलिया), निप्र ।कभी सामाजिक सद्भाव के प्रतीक एवं जल संचय के प्रमुख साधन रहे तालाबों का अस्तित्व समाप्त होता जाना चिंता का कारण बनता जा रहा है। अतीत में तालाबों के स्वच्छ जल में लोग नहाते और कपड़ा तो धोते ही थे, उसका पानी मवेशियों के पीने तथा फसलों की सिंचाई के काम में भी लाया जाता था। प्राय: रोजाना सुबह-शाम तालाबों पर इकट्ठा होने वाली स्नानार्थियों की भारी भीड़ आपस में देश काल सहित समसामयिक सामाजिक बातें कर सूचनाओं का आदान-प्रदान करती थी। बाद में हैण्डपाइप व टयूबवेल के प्रादुर्भाव ने इन तालाबों के अस्तित्व पर धीरे-धीरे जो ग्रहण लगाना शुरू किया वह आज भी जारी है। अधिकांश तालाब समाप्त हो गये तथा जो बचे भी हैं वह अपने अस्तित्व के संकट की लड़ाई लड़ रहे हैं। इन्हीं में से एक नगर के दक्षिणी-पूर्वी भाग में स्थित ऐतिहासिक किला का पोखरा है जो वर्तमान में गन्दगी का पर्याय बन अपने अस्तित्व की रक्षा के लिए संघर्षरत है। कारण कि इस ऐतिहासिक धरोहर पर कुछ लोगों की वक्र दृष्टि लग गयी है। ऐतिहासिक साक्ष्यों के अनुसार जब सिकंदरपुर क्षेत्र दिल्ली के बादशाह सिकंदर लोरी के आधिपत्य में आ गया तो यहां शासन चलाने के लिए उन्होंने एक किला का निर्माण कराया। किला के निर्माण के समय ही स्नानादि आवश्यकताओं की पूर्ति हेतु जल संचय के निमित्त उसके पूर्वी-दक्षिणी भाग में एक तालाब भी खोदवाया गया। पोखरा के निर्माण केसमय ही उसके पश्चिमी छोर पर एक खूबसूरत सीढ़ी भी निर्मित कराया गया। जिस पर बैठकर किला के कारिन्दे स्नानादि करते थे। बादशाही शासन की समाप्ति और किला के ध्वस्त हो जाने के बाद इस पोखरा में आम नागरिक स्नान करने लगे। तब यह पोखरा नागरिकों के लिए एक तफरीहगाह के रूप में बन गया। रोजाना प्रात: और शाम को पोखरा पर स्नान करने वालों की भीड़ से यह स्थल काफी गुलजार रहता था। तब नगर में यही एकमात्र पोखरा था। जिसकी सीढि़यां पक्की तथा पानी स्वच्छ रहता था। समय के प्रवाह के साथ लोगों ने पोखरा में स्नान करना छोड़ दिया। मरम्मत तथा देख-रेख के अभाव में इसकी सीढि़यां क्षतिग्रस्त तथा पानी गंदा होने लगा। आज यह ऐतिहासिक पोखरा खुदाई के अभाव में छिछला तथा सफाई नहीं होने से गन्दगी का पर्याय बन गया है। इसके पूर्वी व दक्षिणी टीलों पर आबादी बस गयी है। उनके मकानों से निकला गन्दा पानी पोखरा में तो गिरता ही है नगर पंचायत द्वारा निर्मित नाली के पानी को भी पोखरा में ही गिराया जा रहा है। यही नहीं पानी कम हो जाने पर यह सूअरों का ऐशगाह तक बन जाता है। आज पोखरा के सड़े पानी व कीचड़ से निकलने वाला दुर्गन्ध पास-पड़ोस के वातावरण को गन्दा कर रहा है।

वर्तमान में भूगर्भ का गिरता जलस्तर विकराल समस्या बनकर मुंह बाये खड़ा है। ऐसी स्थिति में जल संचय अतिआवश्यक हो गया है। इस दशा में स्वच्छता, सुन्दरता और आवश्यकता के मद्देनजर इस ऐतिहासिक पोखरे का पुनरोद्धार और सौन्दर्यीकरण आज की तात्कालिक आवश्यकता बन गयी है। प्रश्रन् यह है कि इसके लिए पहल कौन करे।

Monday, October 26, 2009

स्वावलम्बी भारत के निर्माण में अहम योगदान देगा प्रशिक्षण: सीडीओ !

बलिया। स्वरोजगार को बढ़ावा देने के उद्देश्य से चलाये जा रहे ये प्रशिक्षण कार्यक्रम आगे चलकर स्वावलम्बी भारत के निर्माण में अपना अहम योगदान देंगेउक्त बातें मुख्य विकास अधिकारी राम अरज मौर्य ने कहीवे सोमवार को राबिया महिला सेवा संस्थान बहेरी के तत्वावधान में संचालित स्वर्ण जयंती ग्राम स्वरोजगार योजना द्वारा चलाये जा रहे 45 दिवसीय बेसिक ब्यूटी पार्लर एवं हेयर ड्रेसिंग ट्रेड प्रशिक्षण के उद्घाटन समारोह में बतौर मुख्य अतिथि बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि डीआरडीए द्वारा चलाये जाने वाले इस कार्यक्रम से महिलाओं को अपने पैरों पर खड़ा होने का मौका मिलेगा। विशिष्ट अतिथि सेण्ट्रल लीड बैंक के मैनेजर ने भी संस्थान द्वारा संचालित इस कार्यक्रम की सराहना की। 25 अक्टूबर से शुरू यह कार्यक्रम 45 दिन तक चलेगा। इसमें हनुमानगंज, दुबहड़, बेरूआरबारी व सीयर के प्रतिभागी भाग लेंगे। प्रशिक्षण में नाजनीन, सादिका, किरन व खुशबू बतौर प्रशिक्षक उपस्थित रहेगी। संस्था की सचिव राबिया खातून ने बताया कि इस कार्यक्रम में प्रशिक्षण लेने के बाद महिलाएं अपने पैरों पर खड़ा हो सकेंगी। उद्घाटन कार्यक्रम में ममता, शाइमा, मो. दनिश, आकांक्षा, जुनैद आलम आदि की उपस्थित मुख्य रही। संचालन आरिका व आभार आयशा परवीन ने व्यक्त किया।

Sunday, October 25, 2009

देवी प्रतिमा खंड़ित देख भड़के लोग, नारेबाजी !

बलिया। मिल्की मुहल्ले में स्थित एक मंदिर में खंड़ित देवी प्रतिमा को देखकर रविवार की सुबह लोग भौचक रह गये। देवी प्रतिमा के खंड़ित होने की जानकारी पाकर लोगों की भीड़ मंदिर पर एकत्र हो गयी। इसको लेकर थोड़ी देर तक आपस में हुई तरह-तरह की चर्चाओं के बाद अचानक नारेबाजी होने लगी जिससे माहौल एकबारगी गर्म हो गया। इस दौरान सूचना पाकर मौके पर पहुंचे पुलिस व प्रशासनिक अधिकारियों ने एक सप्ताह के अंदर घटना का पर्दाफाश करने का आश्वासन दे आक्रोशित लोगों को शांत कराया।

नगर के मोहल्ला मिल्की निवासी जितेन्द्र कन्नौजिया के हाता में एक देवी मंदिर है। मंदिर में शेर पर सवार मां दुर्गा की संगमरमर की प्रतिमा स्थापित थी। शनिवार की रात में किसी शरारती व्यक्ति ने प्रतिमा को खण्डित कर दिया। रविवार को प्रात: पड़ोस के ही एक बालक ने हाते में खण्डित प्रतिमा को देख शोर मचाना शुरू कर दिया। मां दुर्गा की प्रतिमा के खण्डित होने की सूचना थोड़ी ही देर में नगर में फैल गयी जिसे सुन श्रद्धालु आक्रोशित हो उठे। पल भर में ही सैकड़ों लोग वहां पहुंचकर नारेबाजी करने लगे। सूचना पाकर क्षेत्राधिकारी सिकंदरपुर राम प्रकाश, तहसीलदार मुनौवर अली, थानाध्यक्ष पीएन मिश्र एवं पुलिस चौकी प्रभारी रमेशचंद्र मिश्र भी दल-बल के साथ मौके पर पहुंच शांति व्यवस्था कायम करने में लग गये। मौके पर उपस्थित भाजपा नेता डा.उमेश चंद्र प्रसाद, अनिल कुमार बर्नवाल, संजय जायसवाल, मानिक चंद, अरविंद कुमार राय, कन्हैया मिश्र, राकेश सिंह, दुर्गा दास समेत सैकड़ों कार्यकर्ताओं के सहयोग से आक्रोशित लोगों को यह आश्वासन दिया गया कि एक सप्ताह के अंदर मामले का पर्दाफाश कर दिया जाएगा तब जाकर लोगों का आक्रोश थमा। भीड़ के हटते ही पुलिस खण्डित प्रतिमा को थाने पर उठा ले गयी। बाद में दिलीप माली की तहरीर पर स्थानीय पुलिस ने 295 आईपीसी के तहत अज्ञात लोगों के खिलाफ मुकदमा पंजीकृत कर घटना की जांच शुरू कर दी है। रिपोर्ट दर्ज कराने वाला माली ही मंदिर में सुबह-शाम पूजा पाठ करने के साथ ही उसकी देख-रेख करता था।

पारम्परिक खेती को नवीनतम तकनीक से जोडे़ं: सीडीओ !

बलिया। कृषि विविधीकरण परियोजना (कृषि घटक) के खरीफ प्रक्षेत्र दिवस कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में मुख्य विकास अधिकारी राम अरज मौर्य ने कृषकों का आह्वान किया कि खेती किसानी में नवीनतम तकनीक का प्रयोग कर प्रति इकाई उत्पादन में वृद्धि करें। इस दौरान उन्होंने जैविक खेती करने, कीट नाशकों का प्रयोग कम करने एवं पशुपालन करके जैविक खाद बनाने के लिए प्रेरित किया। इसी क्रम में उन्होंने सरकार द्वारा प्रदत्त सुविधाओं के बारे में भी जानकारी दी। उन्होंने बेरोजगारों को नसीहत दी कि मधुमक्खी पालन या मशरूम उत्पादन करके आर्थिक उन्नयन करे। जिला प्रक्षेत्र दिवस पर उपस्थित जिला परियोजना समन्वयक द्वारा परियोजना के अन्तर्गत घटक विभाग को गतिविधियों एवं कार्यक्रमों के बारे में जानकारी दी गयी। जिला परियोजना समन्वयक द्वारा बताया गया कि परियोजना के सभी कार्यक्रमों का क्रियान्वयन घटक विशेष समूहों के माध्यम से किया जाये। कार्यक्रम में उपस्थित वैज्ञानिक डा. केके पाण्डेय, बीडीओ बांसडीह आदि उपस्थित रहे। संचालन सीडीएफ डास्प व समापन पूरा के प्रगतिशील कृषक गंगा सागर कुशवाहा द्वारा किया गया।

Saturday, October 24, 2009

छठ पूजा हेतु गरीब महिलाओं में किया गया साड़ी व नारियल वितरित !

बलिया। जनता फ्रंट के तत्वावधान में शुक्रवार को नगर के भृगु क्षेत्र, अशोक नगर व सतनी सराय में स्थित पार्टी कार्यालय पर जनता फ्रंट के जिला संयोजक ददन यादव ने अति गरीब एवं आर्थिक रूप से कमजोर महिलाओं जो पैसे के अभाव में सूर्य देव का व्रत छठ पूजा नहीं कर रही है उनमें साड़ी व नारियल वितरित किया। इस मौके पर उपस्थित जनता फ्रंट के जिला महासचिव राजेश कुमार द्विवेदी ने कहा कि निर्धन एवं असहायों की सेवा ही सबसे बड़ा धर्म है। इस मौके पर फ्रंट के वीरेन्द्र प्रसाद वर्मा, बूटा चौधरी, सोना सिंह, सुनील पाण्डेय, सोनू तिवारी, बब्लू पाण्डेय, मुक्तेश्वर कुंवर, छितेश्वर प्रसाद, राजेन्द्र सिंह समेत दर्जनों लोगों की उपस्थित एवं सहयोग सराहनीय रही। ज्ञातव्य हो कि जनता फ्रन्ट विगत कई वर्षो से इस तरह का सेवा धर्म चला रहा है।

सूर्य षष्ठी पर्व पर विभिन्न घाटों की हुई सफाई !

बलिया। सूर्य षष्ठी के पावन पर्व पर नगर के विभिन्न घाटों की साफ-सफाई की गयी। इसमें पूजा समितियों के अलावा नगर पालिका परिषद ने भी चढ़-बढ़कर हिस्सा लिया। छठ पर्व के दौरान घाटों की साफ-सफाई के अलावा घाटों को लाइट, झालर व अन्य आधुनिक सजावटों से सजाया गया है। देर शाम तक इसकी तैयारियां पूर्ण कर ली गयी थीं। आज हजारों महिला व्रतियों द्वारा अराघ्य के देव सूर्य देव को अस्ताचलित अ‌र्घ्य दिया जायेगा। नपा व प्रशासन ने किसी भी सम्भावित घटना से निपटने के लिए सुरक्षा व्यवस्था का पुख्ता इंतजाम किया है।

पूजा समितियों द्वारा नगर के बिचला घाट, चन्द्रशेखर नगर, महावीर घाट, बहादुरपुर, कटहल नाला, आवास विकास कालोनी घाटों की सफाई की गयी है। इसमें लोग ने बड़ी मेहनत से फावड़ा व कुदाल से घाटों को चुस्त-दुरुस्त करके वेदियों का निर्माण किया है। इसमें वेदियों व घाटों को आकर्षक लगने के लिए गाय के गोबर से लिपाई करके घाटों को और साफ, स्वच्छ बना दिया है। इसके अतिरिक्त रामलीला मैदान, टाउन हाल व भृगु मंदिर में छठ पर्व करने के लिए आम लोगों व पूजा समितियों द्वारा अस्थाई पोखरे का निर्माण किया गया है। घाटों की सफाई व अस्थाई पोखरा के निर्माण में नगर पालिका परिषद की भी भूमिका सराहनीय रही है। विभिन्न घाटों तक जाने वाले मार्गो को लाइट, झूमर व अन्य आधुनिक सजावटों से सजा दिया गया है। नगर पालिका परिषद व जिला प्रशासन ने किसी की सम्भावित घटना से निबटने के लिए सुरक्षा व्यवस्था की पोख्ता इंतजाम किया है।

Friday, October 23, 2009

स्काउट में सोहांव व गाइड में गड़वार अव्वल !

बलिया। पुलिस परेड ग्राउण्ड पर आयोजित जनपदीय रैली में सोहांव ने स्काउट और गड़वार ने गाइड संवर्ग में पहला स्थान हासिल किया। रैली का समापन गुरुवार को जिला जज आरपी शुक्ला के मुख्य आतिथ्य में किया गया। प्रतियोगिता में वर्दी, मार्च-पास्ट, कलर पार्टी, गांठ-बंधन, प्राथमिक चिकित्सा, सिगनलिंग, शारीरिक प्रदर्शन, हस्त निर्मित वस्तुओं की प्रदर्शनी, झांकी के अलावा दलों के साहसिक क्रिया-कलापों ने वाकई मन मोह लिया। मुख्य अतिथि के रूप में जिला जज आरपी शुक्ल ने स्काउट-गाइड दलों को आशीर्वचन दिये। इस मौके पर जिला स्काउट मास्टर अरविन्द सिंह, सुधीर श्रीवास्तव, पंकज सिंह, उमेश सिंह, लक्ष्मण सिंह, अरविन्द शुक्ला, शिवानंद साह, अरुणेंद्र सिंह, चंदन सिंह, अजीत सिंह, सुशीला वर्मा, नीतू सिंह, मनोज शर्मा आदि की उपस्थिति उल्लेखनीय रही। जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी संजय कुशवाहा ने उपस्थित जनों के प्रति आभार व्यक्त किया।

इसी क्रम में बुधवार की देर शाम राजकीय बालिका इण्टर कालेज में कैम्प फायर का आयोजन किया गया जिसमें प्रतिभागियों ने सांस्कृतिक कार्यक्रमों की उत्कृष्ट प्रस्तुति करते हुए एकांकी के माध्यम से सामाजिक कुरीतियों पर करारा प्रहार किया। इस मौके पर मुख्य अतिथि श्री शुक्ल ने शिवानंद साह, अरुणेंद्र सिंह व तेज बहादुर वर्मा को हिमालय हुड बैज पाचमेंट पुरस्कार प्रदान किया।

घाघरा का रुख दक्षिण तरफ, तटवर्ती क्षेत्र खतरे में !

बलिया। घाघरा नदी द्वारा पिछले कुछ वर्षो से अपने बहाव का रुख उत्तर की बजाय दक्षिण की तरफ से कर लिये जाने से तटवर्ती क्षेत्र के अनेक स्थानों का अस्तित्व लगातार खतरे में पड़ता जा रहा है। क्षेत्र के डूहां-बिहरा, कठौड़ा, सीसोटार, गोसाईपुर एवं खरीद के दियारों सहित टीएस बंधा के उत्तर तरफ प्राय: हर वर्ष होने वाले कटान से अब तक सैकड़ों एकड़ क्षेत्रफल की जमीन कटकर नदी में समाहित हो चुकी है। साथ ही यह सिलसिला सुरक्षात्मक व्यवस्था के अभाव में आगे भी जारी रहने की सम्भावना से इन गांवों के किसान चिंतित व शासन-प्रशासन के उपेक्षात्मक व्यवहार से आक्रोशित है। उधर घाघरा के गांव से सटकर बहने और कटान के कारण कुतुबगंज घाट का अस्तित्व लगातार खतरे में पड़ता जा रहा है। जबकि बाढ़ के समय नदी का पानी पेटा से बाहर होते ही कठौड़ा मल्लाह बस्ती चारों तरफ से जलमगन् हो जाता है। फलत: वहां के निवासियों को रहन-सहन एवं आवागमन की जबर्दस्त समस्या से दो-चार होना पड़ता है। जंगली बाबा एवं डूहां मठ के उत्तरी व पश्चिमी दीवारों पर नदी जल का दबाव आज भी बना हुआ है। डूहां मठ की पश्चिमी जर्जर दीवार तो कभी भी ध्वस्त होने के कगार पर पहुंच गयी है। ग्राम प्रधान प्रतिनिधि कठौड़ा सत्येंद्र कुमार चौधरी ने बताया कि कठौड़ा के पश्चिम व पूरब तरफ जंगली बाबा की कुटी के पश्चिम व मौनी बाबा के आश्रम के पूरब तरफ करीब तीन किमी की दूरी में नदी रिंग बंधा के करीब पहुंचती जा रही है। इन स्थानों पर जिस प्रकार कटान हो रहा है यदि उसे रोकने हेतु शीघ्र पहल नहीं किया गया तो आगे चलकर रिंग बंधा को भी खतरा पैदा हो सकता है। उन्होंने कटान को रोकने हेतु कठौड़ा एवं डूहां गांवों के मध्य आवश्यक स्थानों पर मजबूत एवं ऊंचे ठोकरों का निर्माण कराने की मांग की है।

Wednesday, October 21, 2009

शिक्षा के दीप से दूर होगी अज्ञानता : सुभाष यादव !

बलिया। शिक्षा का दीप जलाकर ही अज्ञानता के अंधकार को दूर किया जा सकता हैआज भी कमजोर वर्ग के लोग जो गरीबी रेखा के नीचे जीवन यापन करते है, आर्थिक विपन्नता के कारण अपने बच्चों को विद्यालय में नहीं भेजते। ऐसे बच्चों के लिए डा. भीमराव अम्बेडकर राधिका देवी पूर्व माध्यमिक अनुसूचित विद्यालय बैरिया की स्थापना ददन राम जी द्वारा की गई है। इसके लिए वह धन्यवाद के पात्र है।

उक्त उद्गार द्वाबा विधायक सुभाष यादव के है जो बुधवार की शाम बैरिया में इस विद्यालय के नये भवन के शिलान्यास के बाद बतौर मुख्य अतिथि आगंतुकों को सम्बोधित कर रहे थे। उन्होंने विद्यालय को हर सम्भव सहायता का आश्वासन देते हुए अपनी निधि से विद्यालय भवन बनाने हेतु पर्याप्त धनराशि उपलब्ध कराने की घोषणा की।

सभा को विजय तिवारी, पीआर सिंह, जनार्दन राम, नेपाल यादव, रामनाथ उपाध्याय, अमर पासवान आदि ने सम्बोधित किया। विद्यालय के प्रबंधक ददन राम, प्रधानाध्यापक राजेन्द्र राम, प्रभाशंकर पांडेय आदि ने आगंतुकों का स्वागत किया। कार्यक्रम में बसपा नेता राजेन्द्र यादव, मनोज यादव, ब्रजेश यादव के अलावा तहसीलदार बैरिया रामशिरोमणि की उपस्थिति उल्लेखनीय रही। अध्यक्षता नरहरि बाबा इंटर कालेज के प्रबंधक विनोद सिंह ने की तथा संचालन प्रधानाध्यापक राजेन्द्र प्रसाद ने किया।

पुलिस उत्पीड़न के विरोध में सड़क पर उतरने का एलान !

बलिया। अंग्रेजों के खिलाफ निर्णायक जंग लड़ने वाले द्वाबा के लोग जन हित के मामलों की अनदेखी करने वाले किसी भी अधिकारी अथवा कर्मी को मनमानी नहीं करने देंगे। आम जन को उसका हक दिलाने के लिए ऐसे अधिकारियों के खिलाफ आर-पार की लड़ाई लड़ी जाएगी

यह बाते द्वाबा विकास मंच के संयोजक सुरेन्द्र सिंह ने कहीं। लालगंज में स्थानीय पुलिस द्वारा निर्दोष लोगों के उत्पीड़न के विरुद्ध आयोजित जनसभा में उमड़े हजारों के हुजूम को सम्बोधित करते हुए उन्होंने कहा कि लालगंज चौकी इंचार्ज के खिलाफ एक सप्ताह के अंदर पुलिस के उच्चधिकारी कार्रवाई नहीं करते तो पुलिस चौकी का घेराव व आंदोलन का कार्यक्रम आयोजित किया जायेगा। सभा को सम्बोधित करते हुए दर्जनों वक्ताओं ने लालगंज के चौकी प्रभारी पर आरोप लगाया कि उन्होंने मुरारपट्टी निवासी उदय प्रताप तिवारी को अकारण मारपीट कर थाने में घंटों बैठाये रखा और बाद में छोड़ दिया। इसी क्रम उसी गांव के विपिन तिवारी सहित आधा दर्जन लोगों के साथ चौकी इंचार्ज ने दु‌र्व्यवहार किया जिसे कत्तई बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। सभा को अरविंद पाठक, श्रीकांत तिवारी, मुन्ना सिंह, झलक बाबा, अधिवक्ता अरुण कुमार श्रीवास्तव, अध्यापक योगेन्द्र सिंह व ग्राम प्रधान वीरेन्द्र यादव ने सम्बोधित किया। अध्यक्षता सुधाकर दूबे व संचालन गुप्तेश्वर पाठक ने किया। इस बीच सुरेन्द्र सिंह के नेतृत्व में सैकड़ों ग्रामीणों ने बैरिया तहसील दिवस पर मंगलवार को उप जिलाधिकारी व पुलिस उपाधीक्षक को ज्ञापन देकर आगामी 27 अक्टूबर को पुलिस चौकी के घेराव का अल्टीमेटम दिया।

सेना में भर्ती के नाम पर पैसा ऐंठने वाले गिरोह के दो सदस्य गिरफ्तार !

बलिया। हल्दी थाना पुलिस व एसओजी टीम ने बुधवार को सेना में भर्ती के नाम पर पैसा ऐंठने वाले गिरोह के दो सदस्यों को धर दबोचा। इनका सरगना अभी भी पुलिस की पकड़ से बाहर है। इनके पास से फर्जी नियुक्ति पत्र व प्रयुक्त सिमकार्ड भी बरामद हुआ। पुलिस के हत्थे चढ़े इन सदस्यों में एक मध्य प्रदेश का रहने वाला है। इस पूरे जालसाजी में पीएसी में तैनात एक जवान भी प्रकाश में आया है।

हल्दी थाने में नेम छपरा निवासी राजीव कुमार तिवारी ने 18 अक्टूबर को सेना में भर्ती के नाम पर 7,50,000 रुपया लेने की शिकायत दर्ज कराई। इस पर हल्दी पुलिस ने धारा 419, 420, 406 के तहत प्राथमिकी दर्ज कर लिया। पुलिस अधीक्षक चन्द्र प्रकाश ने ठग गिरोह के भण्डाफोड़ के लिए एसओजी इंचार्ज कमल यादव के नेतृत्व में टीम को लगाया। टीम ने दर्ज मुकदमे में नामजद लोगों की छानबीन शुरू की। इस बीच सर्विलांस के सहयोग से कुछ सफलता हाथ लगी। इस पर पुलिस ने मध्य प्रदेश के जबलपुर के धरावंती नगर निवासी सतीश ठाकुर उर्फ सतीश कोरी को भर्ती के नाम पर पैसा देने की बात कही और उसे बलिया बुलवाया। वह अपने गिरोह के सदस्य जितेन्द्र कुमार सिंह निवासी कुदारन थाना अहरौरा के साथ पहुंच गया। हल्दी के जूनियर हाईस्कूल से इस टीम ने दोनों को धर दबोचा। इनके पास से सेना में भर्ती का आधा दर्जन फर्जी नियुक्ति पत्र तथा 5 अदद सिम व एक मोबाइल सेट बरामद हुआ। पुलिस के अनुसार इन सभी का लम्बा गिरोह है जिन्होंने भर्ती के नाम पर कई बेरोजगार नौजवानों का पैसा ठग लिया है। इस गिरोह का मुखिया एक पीएसी का जवान है। इसकी तलाश में पुलिस लग गयी है।

Tuesday, October 20, 2009

घाघरा के पानी में समाया तिलापुर में बना एप्रन !

बलिया। घाघरा की लहरों ने विकासखंड रेवती अंतर्गत तिलापुर समेत दर्जनभर ग्रामसभाओं में कहर बरपाना शुरू कर दिया है। नदी के जलस्तर में कमी के साथ ही कटान तेज हो गई है। डेजर जोन कहलाने वाले तिलापुर में टीएस बंधे के नीचे बनाया गया लॉन्चिंग एप्रन करीब 30 मीटर की लम्बाई में रविवार रात घाघरा में समाहित हो गया, जिससे स्थिति खतरनाक बन गई। बोल्डर की पिचिंग व एप्रन के बीच दरार पड़ जाने से इलाकाई लोगों की नींद हराम है, वहीं दूसरी ओर स्थिति निरोधक कार्यो को रफ्तार देने में विभागीय अमला दिलचस्पी नहीं ले रहा। ऐसे में बैकरोलिंग से हो रही कटान से टीएस बंधा भी सुरक्षित नहीं। हाल यह है कि घाघरा बंधे से बिल्कुल सटकर बह रही है।

चांदपुर गेज पर नदी का जलस्तर सोमवार को खतरे के निशान से करीब ढाई मीटर नीचे रिकॉर्ड किया गया। डेजर जोन बने तिलापुर में नदी अब भी दबाव बनाये हुए है। उधर पूर्व प्रधान रामवचन के घर को कटान से बचाने के लिए पिछले वर्ष जो बोल्डर डाले गए थे, उससे टकरा कर घाघरा बैकरोलिंग में सीधे टीएस बंधे को टक्कर मार रही है। ग्रामीणों का कहना है कि अगर कटान की यही स्थिति रही तो बंधे का अस्तित्व बचाना मुश्किल हो जाएगा।

क्या है एप्रन : बाढ़खंड के सहायक अभियंता चतुर्थ जेआर भारती बताते है कि गर्मियों में नदियों का जलस्तर जब एलडब्ल्यूएल को छूता है तो कटान को रोकने के लिए वहीं से निरोधक कार्य प्रारम्भ किये जाते है ताकि बंधे आदि की सुरक्षा की जा सके। नदी के एलडब्ल्यूएल व बंधे की टो तक स्टोन बोल्डर डाल कर जो प्लेटफार्म तैयार किया जाता है वही लांचिंग एप्रन कहलाता है।

Thursday, October 15, 2009

ग्रामीण प्रतिभाओं को आगे लाने का हो प्रयास !

बलिया। ग्रामीण क्षेत्रों में प्रतिभाओं की कोई कमी नहीं। आवश्यकता उन्हे सामने लाकर अपेक्षित प्लेटफार्म देने की है ताकि अपनी प्रतिभा में निखार लाकर वे अपने क्षेत्र का नाम रौशन कर सकें

यह बातें क्रीड़ा अधिकारी राजेश कुमार सोनकर ने कहीं। वे महिला पालीटेक्निक परिसर में जिला युवा एवं कल्याण विभाग द्वारा आयोजित दो दिवसीय सांस्कृतिक कार्यक्रम के समापन समारोह को बतौर मुख्य अतिथि संबोधित कर रहे थे। महिला पालीटेक्निक के प्राचार्य ले. सुधाकर उपाध्याय ने कहा कि इस तरह के कार्यक्रमों के आयोजन के निमित्त वे सदैव आगे रहेगे। इस मौके पर मुख्य अतिथि द्वारा संगीत की विभिन्न विधाओं में प्रथम, द्वितीय व तृतीय स्थान प्राप्त करने वाले प्रतिभागियों को पुरस्कृत किया गया। निर्णायक की भूमिका विक्की पाण्डेय ने अदा की। संचालन प्रतिभा विश्वकर्मा ने किया। जिला युवा कल्याण अधिकारी शीतल नाथ पाण्डेय ने अतिथियों के प्रति आभार व्यक्त किया। इस मौके पर क्षेत्रीय युवा कल्याण अधिकारी रमेश चन्द्र सिंह यादव, केदार राम, कपिल देव, कुंदन सिंह, राजेंद्र प्रसाद, महेश प्रसाद शर्मा आदि उपस्थित रहे।

Tuesday, October 13, 2009

यूपी में आने वाला दिन कांग्रेस का : अनिल सिंह !

बलिया। प्रदेश की वर्तमान सरकार विकास से कोसों दूर अपना ध्यान सिर्फ फिजूल खर्च यानी मूर्तियों व अम्बेडकर पार्को के निर्माण में ही लगायी है। प्रदेश में व्याप्त सूखा और महंगाई की चिंता उन्हे थोड़ी भी नहीं है। केन्द्र से अनुदान के रूप में मिले 25 हजार करोड़ रुपये मूर्तियों व अम्बेडकर पार्को में खपा दिया। प्रदेश के प्रत्येक वर्ग के लोग भी इस बात को भली-भांति समझ गये हैं। इस लिए अब उप्र में आने वाला दिन कांग्रेस का ही होगा क्योंकि कांग्रेस ही एक मात्र ऐसी पार्टी है जो जाति, धर्म से ऊपर उठकर समाज के प्रत्येक वर्ग के लिए काम करती है।

उक्त बातें कांग्रेस कमेटी के युवा ब्रिगेड के पूर्व महामंत्री अनिल सिंह ने प्रेसवार्ता में कही। श्री सिंह ने प्रदेश के वर्तमान सरकार को आड़े हाथ लेते हुए कहा कि यह सरकार पूरी तरह से पथ भ्रष्ट हो चुकी है और उसकी उल्टी गिनती भी शुरू हो चुकी है।

दलितों का मसीहा बताने वाली इस सरकार में दलित ही महंगाई व सूखे की मार से कराह रहे हैं और यह मूर्तिया व अम्बेडकर पार्क बनाने में ही व्यस्त है। इनके द्वारा किये गये कार्यो को हाईकोर्ट पहले ही झटका दे चुका है और अब आगामी विधानसभा चुनाव में जनता देगी। केंद्र सरकार के उपलब्धियों को गिनाते हुए कहे कि नरेगा के अंतर्गत रोजगार के जाब कार्ड के अंतर्गत फर्जी ढंग से पैसा निकाले गये मामलों को गम्भीरता से लेते हुए केंद्र सरकार ने जांच का आदेश दे दिया है और दोषियों को दण्डित भी किया जायेगा। बढ़ रही महंगाई में गरीबों को राहत देने के लिए अरहर की दाल प्रत्येक सहकारी गल्ले की दुकान से 60 रु. प्रति किलो ग्राम से वितरित किया जा रहा है। प्रेसवार्ता के दौरान शम्भू शरण पथिक, अशोक कुमार सिंह, उषा सिंह आदि उपस्थित रहे।

Friday, October 9, 2009

अति प्रासंगिक है लोहिया के विचार !

सामाजिक परिवर्तन, मानव मूल्यों की रक्षा तथा समाज में व्याप्त पीड़ा व अन्याय के विरुद्ध आजीवन संघर्ष करते रहे डा. राम मनोहर लोहिया। वर्तमान परिवेश में उनके विचार व आदर्श समाज के लिए अत्यधिक प्रासंगिक हो गए हैं। सपा ने उनके विचारों व आदर्शो को जन-जन तक पहुंचाने का संकल्प लिया है।

उक्त विचार सपा के जिला सचिव शैलेश चौधरी पप्पू के हैं। वह बुधवार को देर शाम समीपवर्ती गांव बघेवा में लोहिया वाहिनी विधानसभा क्षेत्र अध्यक्ष शिवजी यादव के आवास पर सपा द्वारा डा. लोहिया के निर्वाण दिवस पर चलाए जा रहे जन-जागरण अभियान की तैयारी बैठक को सम्बोधित कर रहे थे। कहा कि डा. लोहिया में अन्याय व अत्याचार का प्रतिकार करने का अदम्य साहस था

श्री चौधरी ने बताया कि 10 अक्टूबर को फेफना विधानसभा सपा कार्यकर्ताओं द्वारा मोटरसाइकिल जुलूस, जनसम्पर्क के बाद शाम गड़वार में स्थित सिंचाई विभाग के डाक बंगले में गोष्ठी व काव्य संध्या का आयोजन किया गया है जिसमें डा. लोहिया के स्मृतियों को नमन किया जायेगा।

बैठक में अन्य वक्ताओं ने सपा द्वारा चलाए जा रहे कार्यक्रम की सफलता की व्यापक रणनीति पर प्रकाश डाला। बैठक को राजनारायण यादव, शमीम अंसारी, श्रीनिवास यादव, प्रधान गिरिवर यादव ने सम्बोधित किया। अध्यक्षता शिवजी यादव व संचालन प्रभुनाथ राजभर ने किया।

चिलकहर प्रतिनिधि के अनुसार समाजवाद के अग्रदूत महान जन नायक डा. राम मनोहर लोहिया के जन्म शताब्दी के अवसर पर जनपद में निकलने वाली संदेश यात्रा देश की राजनीति को नयी दिशा प्रदान करेगा तथा इससे देश के युवाओं को भी नयी ऊर्जा मिलेगी।

चिलकहर के ब्लाक प्रमुख रामेश्वर पाण्डेय ने डा. लोहिया शताब्दी समारोह तथा संदेश यात्रा के मद्देनजर अपने व्यापक जन सम्पर्क कार्यक्रम के दौरान चिलकहर में आयोजित बैठक में व्यक्त किया गया। उन्होंने कहा कि जनपद में 9 से 12 अक्टूबर तक निकलने वाले एक संदेश यात्रा में 10 अक्टूबर को यात्रा जुलूस का नेतृत्व नगरा से पिपरिया तक क्षेत्रीय विधायक सनातन पाण्डेय करेगे। इस यात्रा को सफल बनाने के लिए उन्होंने आम आवाम से भारी संख्या में भाग लेने का आह्वान किया।

पाण्डेय के साथ वरिष्ठ सपा नेता कालिका यादव, विजय शंकर यादव, राधेश्याम यादव, संतोष पाण्डेय, अभय सिंह, अफजाल कुरैशी, मुकेश सिंह, रामजी, पारस राम आदि ने दर्जनों गांवों में जनसम्पर्क किया।

Wednesday, October 7, 2009

किसानों को उपलब्ध करायी जायेगी डीएपी : विधायक !

द्वाबा के बसपा विधायक सुभाष यादव ने कहा है कि किसानों को रबी की बोआई के मौसम में भरपूर मात्रा में डीएपी व अन्य रासायनिक खाद उपलब्ध करायी जायेगी। इसके लिए सम्बन्धित विभाग के अधिकारियों को बता दिया गया है।

विधायक ने स्पष्ट किया कि किसी भी सरकारी कर्मचारी व अधिकारी को मनमानी की छूट हमारी सरकार नहीं देने वाली है। किसान हमारे अर्थ व्यवस्था के रीढ़ है और उनकी हितों की रक्षा हमारी सरकार की प्राथमिकताओं में शामिल है। उन्होंने द्वाबा के सर्वागीण विकास के संकल्प को दुहराते हुए कहा कि सड़क, शिक्षा, चिकित्सा, बिजली व पानी सबकी हालत सुधारने के लिये प्रयास जारी है। एक दो महीनों में इसके परिणाम सामने आयेंगे।

Monday, October 5, 2009

पशुपति नाथ जी की जयंती पर तीन स्थानों पर शतचण्डी महायज्ञ !

बलिया। पूज्य संत स्वामी पशुपतिनाथ जी महाराज की जयंती पर जनपद में तीन स्थानों पर श्रद्धालु भक्तजनों द्वारा आयोजित शतचण्डी महायज्ञ हेतु रविवार को भव्य कलश यात्राएं निकाली गयीं। बाबा के गृह गांव शोभनथहीं में सुबह 10 बजे भव्य कलश यात्रा निकाली गयी

रविवार को जलयात्रा के साथ ही बाबा धाम शुभनथही में पशुपति बाबा जी महाराज की 99वीं जयंती पर श्री शतचंडी यज्ञ का शुभारम्भ हुआ। बाबा धाम के व्यवस्थापक ध्रुव जी महाराज ने बताया कि इस यज्ञ के अवसर पर मानस किंकर जी, पं. रमाशंकर शास्त्री जी, शिवजी उपाध्याय व बाल व्यास जी का प्रवचन होगा। यज्ञ का समापन आगामी शनिवार को ब्रह्मभोज के साथ होगा।

विकास खण्ड हनुमानगंज अंतर्गत बलिया-लखनऊ मार्ग पर स्थित मुबारकपुर गांव में संत पशुपति बाबा के गुफा पर शतचण्डी महायज्ञ के लिए हाथी-घोड़ा, गाजा-बाजा के साथ स्त्री-पुरुषों ने भव्य कलश यात्रा निकाली। टोंस नदी से जल भरकर मंदिर में कलश रखा गया। यज्ञाचार्य राम सनेही तिवारी, श्रीराम भूषण ब्रह्मचारी जी के सानिध्य में जनार्दन दास जी , अयोध्या से पधारे ब्रह्मदेव दास जी पं. उदय शंकर पाठक, संजय उपाध्याय व निर्मल पाण्डेय ने वेदमंत्रों के साथ कलश यात्रा कार्यक्रम सम्पन्न कराया। कलश यात्रा में वशिष्ठ राय, प्रधान सुरेन्द्र यादव, हरिशंकर राय, कमलेश राय, अवध बिहारी राय, चन्द्रमणि सिंह, संजय राय, भोला राय, रामजी राय, सुनील तिवारी, बच्चा जी राय समेत सैकड़ों की संख्या में नर-नारी शामिल रहे।

पशुपति बाबा महाराज की 99वीं जयंती पर बभनौली काली धाम (गड़वार) में आयोजित श्री शत्चण्डी महायज्ञ का शुभारम्भ वैदिक मंत्रोच्चार के साथ यज्ञाचार्य काशी के पं. राधेश्याम मिश्र ने नान्दी श्राद्ध, पंचांग पूजन, मण्डप प्रवेश, वेदी पूजन के साथ कराया। यज्ञ में आयोध्या के पं. अजय शास्त्री प्रवचनकर्ता है। आयोजन कर्ता पं. शिवपूजन उपाध्याय ने बताया कि सात दिवसीय यज्ञ की पूर्णाहुति 10 अक्टूबर को होगी तथा पशुपति बाबा जी महाराज की मूर्ति का अनावरण होगा। संरक्षक गुप्त धाम बभनौली के स्वामी हरिहरानन्द सहित भगवान नारायन उपाध्याय, रवीन्द्र पाण्डेय, श्याम नारायन एवं ग्रामवासी भक्तजन की व्यवस्था में सहभागिता है

जंग-ए-आजादी के योद्धा गुजार रहे जलालत की जिन्दगी !

बलिया। जंग-ए-आजादी में अपना सब कुछ कुर्बान कर देने वाला एक शख्स हाथ में ताम्र पत्र लिए पेंशन की आस लगाये आखिर इस जहां से कूच कर ही गया। यह ताम्र पत्र उन्हे तत्कालीन प्रधानमंत्री श्रीमती इन्दिरा गांधी ने वर्ष 1971 में प्रदान किया था। 1972 से 78 तक केंद्र व राज्य सरकारों ने उन्हे पेंशन भी दिये लेकिन उसके बाद बिना कारण बताये दोनों ही पेंशन अचानक बंद कर दिया गया। सरकारी योजनाओं से दूर गरीबी में जीवन यापन करने वाले परिजन प्रशासनिक अधिकारियों के दरबार में दस्तक देते-देते थक गये लेकिन इसका लाभ उन्हे नहीं मिल पाया। जनप्रतिनिधियों ने भी इस महान सपूत की सुधि नहीं ली। हद तो तब हो गयी जब इस सेनानी के निधन की जानकारी होने के बाद भी जिले का कोई भी अधिकारी उनके कदमों में श्रद्धा के दो फूल चढ़ाना भी मुनासिब नहीं समझा

दर्द भरी यह दास्तान तहसील बांसडीह अंतर्गत बलुआ गांव के बली राजभर तक ही सीमित नहीं बल्कि इस समस्या से जनपद के अन्य सेनानी भी जूझ रहे है और प्रशासनिक अमला उनकी मांगों को लगातार अनसुनी करते जा रहा है। विडम्बना यह कि यह दु:खद पहलू उन लोगों से जुड़े है जिन्हे सिर आंखों पर बिठाया जाना चाहिये

एक तरफ प्रशासन द्वारा जरा याद करो कुर्बानी के पुलिस लाइन में विविध कार्यक्रम आयोजित किये जा रहे हैं वहीं दूसरी ओर जनपद में कुछ ऐसे भी सेनानी या उनकी विधवाएं है जो मौजूदा समय में फांकाकशी का शिकार है लेकिन उनकी सुधि लेने वाला कोई नहीं। उदाहरण के तौर पर गत वर्ष प्रथम स्वतंत्रता संग्राम की 150 वीं वर्षगांठ मनाये जाने के क्रम में संस्कृति मंत्रालय उत्तर प्रदेश द्वारा सेनानियों व उनके जिन्दा न होने की स्थिति में उनकी पत्‍ि‌नयों को सम्मानित करने का निर्णय लिया गया था। इस क्रम में उन्हे साढ़े सात हजार की धनराशि देने के साथ ही कुल नौ बिन्दुओं पर कार्य किये जाने थे लेकिन विडम्बना यह कि जनपद के कई सेनानी अथवा उनकी पत्‍ि‌नयों को इस धनराशि से वंचित रखा गया। सेनानी स्व.महानंद मिश्रा की पत्‍‌नी राधिका मिश्रा इसका प्रत्यक्ष प्रमाण है। खास बात ये कि जिन सेनानियों की पेंशन कतिपय कारणों से बंद कर दी गयी थी उनमें से कुछ लोगों को यह धनराशि जरूर प्रदान कर दी गयी।

सेनानी व उत्तराधिकारी संगठन की अध्यक्ष राधिका मिश्रा के ही शब्दों में केंद्र व प्रदेश सरकार द्वारा जनपद के कितने सेनानियों की पेंशन निरस्त और निलम्बित की गयी है, इस बारे में जब कांग्रेस जन सूचना का अधिकार टास्क फोर्स के मण्डल प्रभारी मधुसूदन श्रीवास्तव ने प्रधानमंत्री व मुख्यमंत्री कार्यालय से जानकारी मांगी तो वहां के जन सूचना अधिकारी द्वारा यह बताया गया कि बलिया के जिला प्रशासन से इस तरह की कोई भी आख्या उन्हे प्राप्त नहीं हुई है। विडम्बना यह कि जिले में कितने सेनानी फिलवक्त जिन्दा है इस बारे में जिला प्रशासन के पास कोई सूचना नहीं है।

Saturday, October 3, 2009

गोवंश वध से बढ़ रहा अत्याचार : बालक दास !

बलिया। जनपद स्तरीय विश्व मंगल गो ग्राम यात्रा का शुभारम्भ संत श्रीरामभद्राचार्य करपात्री जी बालक दास बाबा द्वारा गो माता के विधिवत पूजन अर्चन तथा भृगु मंदिर में गो भक्त सभा के साथ हुआ।

इस अवसर पर मुख्य अतिथि बालक दास बाबा ने कहा कि गो शक्ति लौकिक एवं पारलौकिक दोनों प्रकार के लक्ष्यों की प्राप्ति का साधन है। भारत में सनातन काल से इसकी पूजा एवं रक्षा समाज का नैतिक दायित्व रहा है आज देश में प्रतिदिन अवाध रूप में गोवंश की हत्या की जा रही है। इसी के दुष्परिणाम स्वरूप देश में अत्याचार अनाचार और अधर्म बढ़ रहा है। उन्होंने फिर से कूका आंदोलन शुरू करने का आहवान किया।

सभा में अपने विचार रखते हुए भारतीय किसान संघ के प्रांतीय महामंत्री जयप्रकाश सिंह ने कहा कि भारतीय अर्थ व्यवस्था कृषि पर तो कृषि पूर्णत: गोवंश पर आधारित है। गोवंश का तिरस्कार कर आज कृषि, कृषक और ग्राम जीवन विनाश की ओर बढ़ रहा है। कृषि भूमि की उर्वरा शक्ति नष्ट हो रही है। इस अवसर पर यात्रा के जिला संयोजक मणिराम मिश्र ने यात्रा की जिले भर में 21 दिन की प्रवास योजना प्रस्तुत किया। सभा की अध्यक्षता करते हुए गायत्री परिवार पूर्वी उत्तर प्रदेश जोन के प्रभारी बालमुकुन्द शुक्ल ने गाय के धार्मिक एवं वैज्ञानिक महत्व पर विस्तार से प्रकाश डाला। संचालन यात्रा के सह संयोजक रामायण सिंह ने किया। सभा में विभाग संयोजक गिरीश नारायण चतुर्वेदी तथा श्याम दास महाराज भी मंच पर मौजूद थे। इस अवसर पर प्रेमधर पाण्डेय, सुरेंद्र तिवारी, संजय शुक्ल, विनोद सिंह, बैरिस्टर जी, डा.विनोद सिंह, डा.राजेंद्र पाण्डेय, राजेश पाण्डेय, अक्षय ठाकुर, मनोज पाण्डेय, डा.हरिओम, रामजी सिंह, अनिल कुमार सिंह, प्रेमनाथ सिंह, नित्यानंद राय, बालगोविंद भारती, श्रीप्रकाश, बजरंग प्रताप सहित सैकड़ों गोभक्त उपस्थित थे।

अंतर्राष्ट्रीय दंगल में पाकिस्तान व नेपाल के पहलवान भी दिखाएंगे जलवा !

बलिया। तहसील सिकंदरपुर अंतर्गत सीवानकला स्थित आदर्श इण्टर कालेज के मैदान में आगामी 14-15 अक्टूबर को आयोजित होने वाले अंतर्राष्ट्रीय दंगल में पाकिस्तान केशरी के अलावा नेपाल के भी दिग्गज पहलवान शिरकत करेगे। बसपा नेता एचएन पाल ने बताया कि प्रदेश के खेल मंत्री अयोध्या पाल की अगुवाई में आयोजित होने वाले इस दंगल की तैयारी पूर्व हाकी खिलाड़ी व लखनऊ मण्डल के क्षेत्रीय क्रीड़ा अधिकारी आरपी सिंह व खेल निदेशक कुंवर विक्रम सिंह के निर्देशन में की जा रही है।

श्री पाल ने बताया कि इण्डियन रेलवे के गुलाम साबिर जैसे देश के करीब 150 नामी-गिरामी पहलवान शिरकत करेंगे। उन्होंने बताया कि महिला पहलवानों में अलका जाखड़ा, दीपिका तोमर, नव ज्योति समेत स्पो‌र्ट्स कालेज के अन्य पहलवानों का भी जमावड़ा होगा। दंगल के मुख्य आकर्षण फ्री-स्टाइल कुश्ती के बेताज बादशाह फिल्म अभिनेता दारा सिंह होंगे। दंगल के समापन अवसर पर प्रदेश के खेल मंत्री अयोध्या पाल सीवानकला में ग्रामीण स्टेडियम का शिलान्यास भी करेगे।

Wednesday, September 30, 2009

हत्या व बढ़ते अपराध के विरोध में बंद रहा बैरिया बाजार !

बलिया। स्थानीय थाना क्षेत्र के मुकामी गांव के कुंवर टोली में सोमवार की शाम हुई युवक की हत्या से उबाल खाये व्यवसायियों ने क्षेत्र में बढ़ती आपराधिक घटनाओं के विरुद्ध बुधवार को बैरिया बाजार में स्थित अपने प्रतिष्ठानों को बंद रखा। बाजार बंद होने से आम लोगों को भारी असुविधा का सामना करना पड़ा। व्यवसायियों का आरोप है कि स्थानीय पुलिस की मिलीभगत से क्षेत्र में अंधाधुंध आपराधिक घटनाएं घटित हो रही हैं और पुलिस सीधे-सादे लोगों को परेशान करने में लगी हुई है।

व्यवसायियों ने पुलिस प्रशासन को चेताया कि अगर आपराधिक घटनाओं पर अंकुश नहीं लगाया गया तो व्यापारी आंदोलन के लिए सड़क पर उतरेगे। बता दें कि मुकामी गांव के कुंवर टोली निवासी विजय मिश्र की हत्या कुछ लोगों द्वारा चाकुओं से गोद कर दी गई थी जिससे लोगों में काफी आक्रोश है।

Tuesday, September 29, 2009

डा. सुद्युम्न आचार्य राष्ट्रपति सम्मान के लिए चयनित !

बलिया । संस्कृत के प्रख्यात विद्वान डा. सुद्युम्न आचार्य इस वर्ष राष्ट्रपति सम्मान के लिए चयनित किये गये हैं। श्री मुरली मनोहर टाउन पीजी कालेज के अवकाश प्राप्त प्राध्यापक डा. सुद्युम्न संस्कृत में उत्कृष्ट कार्य करने वाले देश के 15 शीर्ष विद्वानों में से एक चुने गये हैं। डा. आचार्य ने संस्कृत में दर्शन शास्त्र के क्षेत्र में, भौतिक विज्ञान आदि पर गम्भीर कार्य किया है, प्राचीन गणित के अनेक प्रमेयों को खोजा है तथा आधुनिक गणित से समतुल्य स्थापित करने में सफलता प्राप्त की है जिससे संस्कृत में वैज्ञानिक तथ्यों को सिद्ध करने में नया आयाम प्राप्त हुआ है।

डा. सुद्युम्न ने दुर्लभ प्राचीन अनेक ग्रन्थों की स्वकीय व्याख्या का सम्पादन करके उन्हें प्रकाश में लाने का बहुमूल्य कार्य किया है। इनमें गणित का एक बहुमूल्य ग्रन्थ 'त्रिशतिका' भी है, जो भास्कराचार्य से भी पहले आज से लगभग 1300 वर्ष पूर्व रचित किया गया था। इसे व्याख्या के साथ सबसे पहले प्रकाश में लाने का श्रेय डा. आचार्य को है। इससे पूर्व भी अनेक सम्मान एवं पुरस्कार प्राप्त कर चुके डा. सुद्युम्न आचार्य का सर्वाेच्च सम्मान के लिए चयन होने से सम्पूर्ण संस्कृत समाज गौरवान्वित है।

गुलाबों की नगरी : विकास के लिए आज भी मसीहे का इंतजार !

सिकन्दरपुर (बलिया)। विकास एवं जनता की मूलभूत समस्याओं के समाधान हेतु शासन द्वारा जबकि भारी धन व्यय कर अनेक तरह की योजनाएं चलाई जा रही हैं वहीं गुलाबों की नगरी कहलाने वाली नगर पंचायत सिकन्दरपुर में मानापुर के रूप में एक ऐसा मोहल्ला भी है जहां विकास की किरणें आजादी के छ: दशक बाद भी संतोषजनक रूप से नहीं पहुंच पायी हैं। इसके चलते मोहल्ला के नागरिक आज भी आवागमन, पेयजल, विद्युत, शिक्षा तथा स्वास्थ्य जैसी मूलभूत जरूरतों की प्राप्ति हेतु जूझ रहे हैं। ये अलग बात है कि नगर पंचायत के अन्य मोहल्लों की भांति शासन द्वारा गलत सही ढंग से अब तक निश्चित रूप से लाखों रुपया बहाया गया होगा। शिक्षा और स्वास्थ्य के मामले में तो यह मोहल्ला अभी तक अन्य मुहल्लों से काफी पीछे चल रहा है। नगर पंचायत के अन्तिम पूर्वी उत्तरी छोर पर दो वाडरें में विभाजित इस मोहल्ले में न तो एक प्राथमिक विद्यालय है और न ही नागरिकों के लिए चिकित्सा एवं स्वास्थ्य सम्बन्धी कोई व्यवस्था है। फलत: इस मुहल्लेवासियों को अपने बच्चों की पढ़ाई चिकित्सा व स्वास्थ्य सम्बन्धी आवश्यकता की पूर्ति हेतु दो किमी की दूरी तय करनी पड़ती है। यह अलग बात है कि चांद पर पानी खोजकर हम भारतवासी गौरवान्वित हैं, विकसित मुल्कों को चौका दिये हैं तथा उन्हे अपनी विज्ञान क्षमता का लोहा मनवाने को विवश कर दिये है।

इस मुहल्ले में आयोजित जन चौपाल में यहां के लोग जनप्रतिनिाियों से खासे नाराज दिखे। नागरिक समस्या शिविर में आये नागरिकों ने अपनी समस्याओं के लिए नगर पंचायत सिकन्दरपुर प्रशासन को भी दोषी ठहराया तथा उस पर जमकर भड़ास निकाली। इस मोहल्ले में कस्बे के अदंरूनी भाग से मनियर रोड को जोड़ने वाला मुख्य मार्ग तो सीमेंटेड है जबकि बस्ती में जाने वाले करीब एक दर्जन सम्पर्क मार्ग कच्चे हैं जिससे बरसात के दिनों में उस पर चलना टेढ़ी खीर के सामान हो जाता है।

मोहल्ले की समस्याओं के बारे में पूछने पर रामजीत चौहान ने बताया कि यहां सर्वाधिक समस्या बिजली और जल निकासी की है। जल निकासी के लिए नगर पंचायत द्वारा मुख्य सड़क के दोनों तरफ नाले बनवाये तो गये हैं किन्तु सफाई के अभाव में उनका अधिकांश भाग कीचड़ से भर गया है तथा उसमें झाड़-झंखाड़ उग गया है। कहा कि बिजली आज मानव जीवन के हर क्षेत्र में महत्वपूर्ण बन गई है। इस स्थिति से प्रशासन व बिजली विभाग के लोग अवगत भी हैं बावजूद इसके मोहल्लेवासियों को बिजली की समस्या से निजात नहीं दिलाई जा रही है। सब्जी उगाने वाले नथुनी वर्मा ने बताया की बच्चों की शिक्षा के लिए न तो सरकारी और नहीं प्राइवेट सेक्टर से कोई व्यवस्था है। फलत: हमें अपने बच्चों को पढ़ाने के लिए मोहल्ले से करीब दो किमी दूर स्थित विद्यालयों में भेजना पड़ता है। बिजली के बारे में बताया कि पिछले एक महीने से मोहल्ले के नागरिकों को बिजली रानी के दर्शन नहीं हो पाये हैं जिसके मूल में जनप्रतिनिधियों की उपेक्षा तथा विद्युत विभाग की उदासीनता है। शिवकुमार वर्मा ने बताया कि यह मोहल्ला नगर पंचायत के बाहरी भाग में स्थित है प्रशासन की लापरवाही के कारण मोहल्ले का अधिकांश भाग मूलभूत सुविधाओं से वंचित है। आक्रोश व्यक्त करते हुए कहा कि बिजली समस्या के समाधान तथा नालों की सफाई हेतु अनेक बार सम्बन्धित विभागों से कहा गया किन्तु अब तक उनके कान पर जूं नहीं रेगा। उन्होंने विशेष तौर से बढ़ती नागरिक समस्याओं के लिए नगर पंचायत प्रशासन और यहां के जनप्रतिनिधियों को दोषी ठहराया। अफसोस जताया कि नेता मात्र चुनाव के दिनों में ही वोट लेने के लिए मोहल्ले में आते हैं चुनाव बाद उनका इस मोहल्ले में दर्शन नहीं होता। मीरा देवी ने मोहल्ले की साफ सफाई, बिजली, राशन कार्ड की समस्या का मुद्दा उठाते हुए बताया कि पात्रों को पीला राशन कार्ड जबकि अपात्र व्यक्तियों को सफेद व लाल राशन कार्ड प्रशासन द्वारा प्रदान कर दिया गया है। अपने बच्चों के साथ गरीबी की मार झेल रही विकलांग देवन्ती देवी का रोना था कि हमारे पास न तो खेती योग्य जमीन है और न ही रहने के लिए घर फिर प्रशासन द्वारा पीला कार्ड मुहैया कराया गया है। विधवा राधिका देवी का दर्द भी देवन्ती से बढ़कर है। वह विधवा है तथा आज भी प्लास्टिक व फूस की झोपड़ी डालकर अपनी जवान बेटियों के साथ अपनी इज्जत समेटे हुए है। आजीविका का कोई अन्य सहारा नहीं रहने तथा खेतों के अभाव में थोड़ा बहुत सब्जी बेचकर किसी प्रकार अपना व अपने बच्चों का पेट भरने के साथ ही अपनी इज्जत पर पर्दा रखे हुए है। राधिका ने आंखों में आंसू भरकर बताया कि उसके पास एक अदद राशन कार्ड तक नहीं है जिससे कि सस्ता मिट्टी तेल व अनाज उसे मिल सके। छोटेलाल रजक ने बताया कि मोहल्ले का उतरी भाग आज भी विद्युतीकरण से वंचित है जिससे यहां के नागरिक बिजली का उपयोग नहीं कर पाते है। बताया कि करीब आधा दर्जन सम्पर्क मार्गो में से मात्र एक की ही सोलिंग करायी गयी है। बरसात के दिनों में अन्य कच्चे मार्गो पर चलना मुश्किल हो जाता है। दीघा गड़ही है उसमें धोबी घाट भी है किंतु घाट पक्का नहीं होने तथा गड़ही का पानी गंदा होने से हमें कपड़ा धोने के लिए दूरदराज के गांवाें के पोखरों का सहारा लेना पड़ता है। दीघा गड़ही के सटे निवास करने वाले अनिल कुमार ने बताया कि गड़ही से निकलने वाली दुर्गन्ध पूरी बस्ती के वातावरण को दूषित करती है। अनेक बार मोहल्ले में कालरा का प्रकोप होने से कई जानें जा चुकी हैं। स्वास्थ्य विभाग और पंचायत प्रशासन को सूचना दिये जाने के बावजूद आज तक कोई इस मोहल्ले में झांकने तक नहीं आया। उन्होंने टोला का विद्युतीकरण कराने तथा स्वास्थ्य विभाग की टीम द्वारा यहां के नागरिकों का स्वास्थ्य परीक्षण कराने की मांग की। अवकाश प्राप्त सैनिक प्रभुनाथ गोंड ने बताया कि मोहल्ले में सरकारी पानी की सप्लाई तो समय-समय पर मिल जाती है किन्तु यहां के नागरिक बिजली आपूर्ति की दु‌र्व्यवस्था से काफी कठिनाई महसूस करते हैं। हफ्तों महीनों तक इस मुहल्ला से बिजली गायब रहती है। विद्युत केन्द्र सिकन्दरपुर को सूचना दी जाती है किन्तु समय से विद्युत आपूर्ति बहाल नहीं की जाती। बताया की नगर पंचायत द्वारा मोहल्ला के उत्तरी भाग के निवासियों को कोई सुविधा प्राप्त नहीं है। सभी गलियां आज भी कच्ची पड़ी हुई हैं। बरसात के दिन में आवागमन की सर्वाधिक कठिनाई मुख्य मार्ग से मोहल्ले की तरफ जाने वाले मार्ग पर होती है क्योंकि उस पर पानी और कीचड़ भर जाता है।

विकास से अछूता नहीं रहेगा बांसडीह का कोई भी गांव !

बांसडीह विधान सभा क्षेत्र का कोई भी गांव अब विकास से अछूता नहीं रहेगा। मैं भाषण में नहीं काम में विश्वास करता हूं। जनता भी कुछ महीने बाद विकास व परिवर्तन को स्पष्ट देखेगी व महसूस करेगी।

उक्त उद्गार विधायक शिवशंकर चौहान के हैं, जो त्रिकालपुर व आसमानठोठा ग्राम सभा में संयुक्त रूप से आयोजित अपने अभिनन्दन समारोह को सम्बोधित कर रहे थे। विधायक श्री चौहान ने ग्रामीणों की मांग पर त्रिकालपुर गांव में मां दुर्गा के निर्माणाधीन मन्दिर के निमार्ण हेतु एक लाख रूपये व आसमानठोठा में सीसी रोड के निर्माण के लिए 5 लाख अपने निधि से दिये जाने की घोषणा की। विधायक ने कहा कि आसमानठोठा के नट व चौहान बस्ती में अधूरे पड़े विद्युतीकरण का कार्य शीघ्र पूरा हो जायेगा।

इस अवसर पर आयोजित सभा को गौतम सिंह, मैनेजर सिंह, ओम प्रकाश उर्फ मुन्नू कुंवर आदि ने भी सम्बोधित किया। अध्यक्षता बसपा विधान सभा प्रभारी सुभाष पासवान व संचालन तथा आभार राजेश कुमार पाण्डेय उर्फ टुनटुन ने व्यक्त किया

कर्म के साक्षात प्रतीक है भगवान विश्वकर्मा : सनातन पाण्डेय !

चिलकहर (बलिया) । आदि शिल्पी पृथ्वी के रचईयता भगवान विष्णु साक्षात कर्म के प्रतीक है। इनके प्रति श्रद्धा एवं आस्था रखकर सम्पूर्ण मानव जाति एवं पृथ्वी की रक्षा की जा सकती है।

उक्त उद्गार चिलकहर के विधायक सनातन पाण्डेय ने सोमवार को नगपुरा गांव में शिव मन्दिर प्रांगण में भगवान विश्वकर्मा मन्दिर का शिलान्यास करने के उपरान्त आयोजित समारोह में बतौर मुख्य अतिथि व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि भगवान विश्वकर्मा ने न केवल पृथ्वी बल्कि अन्य देव लोकों, भवनों की संरचना की, जो आज भी सम्पूर्ण ब्रह्माण्ड के लिए चुनौती है। हमें भगवान विश्वकर्मा के कर्म, सिद्धी तथा रचनाओं से हमेशा सीख लेनी चाहिए तथा पृथ्वी को प्रदूषण मुक्त कर संसार की रक्षा करने का संकल्प लेना चाहिए और यही भगवान विश्वकर्मा के प्रति सच्ची आराधना होगी

समारोह को विश्वकर्मा समाज के जिलाध्यक्ष लल्लन विश्वकर्मा, लवकुश शर्मा, चीनी मिल के उप चेयर मैन चन्द्रशेखर सिंह, विजय शंकर यादव, शिवजी सिंह, अजीत सिंह, मंजीत सिंह आदि ने भी सम्बोधित किया। अध्यक्षता रमेश गोड़ तथा संचालन आत्मानन्द सिंह ने किया।

Saturday, September 26, 2009

देवी प्रतिमाओं के खुले पट, दर्शन-पूजन कर लोग निहाल !

बलिया। शारदीय नवरात्र के सातवें दिन शुक्रवार सप्तमी को पण्डालों में स्थापित देवी प्रतिमाओं के पट विशेष अनुष्ठान पूजन-अर्चन के साथ खोल दिए गए। प्राणप्रतिष्ठा के बाद प्रतिमाओं में अलौकिक आभा आ गई। ढोल-नगाड़ों के बीच मां के विभिन्न रूपों का पूजन-अर्चन हुआ। मां के पूजन में पान, सुपारी, ध्वजा, नारियल, नैवेद्य, फल, पुष्प के साथ ही अगरु चंदन के दिव्य गंध और देवी मां के जयकारों से पूरा माहौल देवीमय हो गया। नगर के ओकडेनगंज, जापलिनगंज, गुदरी बाजार, आर्यसमाज रोड, शास्त्री नगर बड़ागड़हा, भृगुआश्रम, कलेक्ट्रेट कालोनी, कदम चौराहा, गांधी नगर, चंद्रशेखर नगर आदि मुहल्लों में देर रात्रि तक पूजन-अर्चन, भक्ति संगीत प्रसाद वितरण आदि का कार्यक्रम चलता रहा। आबाल वृद्ध बनिता देवी मां के दिव्य स्वरूप तथा पण्डालों की छटा देखने विचरण करते रहे।

नवरात्र के मौके पर रसड़ा नगर के विभिन्न मुहल्लों में शक्ति स्वरूप लगभग चार दर्जन मां दुर्गा की स्थापित प्रतिमाओं का पट परम्परा के अनुसार तिथि सप्तमी दिन शुक्रवार को वैदिक विधि से पूजन अर्चना के बाद खोला गया। पट खुलते ही जहा मां की विभिन्न स्वरूपों की झांकी व आकर्षक पण्डालों को देखने के लिए भीड़ उमड़ पड़ी वहीं नगर में ध्वनि विस्तारक यंत्रों पर बज रहे देवी गीतों की गूंज से पूरा नगर देवी मय हो गया है।

नगर के गुदरी बाजार, पुरानी संघत, उत्तर पट्टी, ठाकुर बाड़ी, पश्चिम मुहल्ला, स्टेशन रोड, बस स्टाप, छितौनी आदि पूजा समितियों के मां की आकर्षक झांकी पण्डालों तथा इलेक्ट्रानिक सजावट की छटा देखते ही बन रही है जहां भक्तों का रेला उमड़ रहा है।

खेजुरी क्षेत्र के एकइल गांव में जलाशय के मध्य स्थापित दुर्गा पण्डाल आज भी श्रद्धालुओं के बीच आकर्षण का केंद्र बिन्दु बना हुआ है। हरदोई में स्पेशल जज के पद पर तैनात इसी गांव के शिव शंकर श्रीवास्तव ने मां की प्रतिमा का पट खोला। इस मौके पर अपने संबोधन में उन्होंने कहा कि सामाजिक सौहार्द को मजबूती देने के लिए पुरजोर कोशिश होनी चाहिये। युवा वर्ग से रचनात्मक कार्यो में आगे आने का आह्वान करते हुए उन्होंने कहा कि क्षेत्र में धार्मिकता बनी रहे इसके लिए भी सार्थक प्रयास होने चाहिये। उन्होंने कहा कि ऐसे ही आयोजनों से लोगों में श्रद्धा व भक्ति का समावेश होता है। वहीं सामाजिक बुराइयों को दूर करने में भी मदद मिलती है। मानस की एक चौपाई सुनाते हुए उन्होंने कहा कि मुझे प्रतिमा का पट खोलने का मौका मां दुर्गा के ही आशीर्वाद से प्राप्त हुआ।

तब से देवी दरबार में जलता आ रहा साह परिवार का दीपक !

बलिया। मां दुर्गा की महिमा अपरम्पार है। उनकी कृपा होने पर लंगड़ा भी दीवार फांद लेता है, गूंगा बोलने लगता है, अंधा देखने लगता है और निर्बल सबल हो जाता है। कुछ इसी तरह की घटना ब्रह्माईन गांव में लगभग डेढ़ सौ वर्ष पूर्व घटी थी। गांव के ही एक निर्बल व्यक्ति ने मां की आराधना कर शक्ति हासिल की थी। इसके बदले में उसने देवी मां के मंदिर में रोजाना दीपक जलाने का वादा किया था। इस परम्परा का पालन आज भी उसकी चौथी पीढ़ी श्रद्धा व विश्वास के साथ कर रही है। मंदिर के बदले स्वरूप के साथ ही हालांकि परम्परा में भी बदलाव हुआ जिसके फलस्वरूप उसके परिजन मा के नाम पर घर पर ही दीपक जलाते हैं लेकिन नवरात्र के दिनों में इसी परिवार का दीपक आज भी मंदिर में मां के चरणों के पास जलता है।

किंवदंतियों के अनुसार लगभग डेढ़ सौ साल पूर्व इस क्षेत्र में नट विरादरी का एक पहलवान आया और कुश्ती लड़ने के लिए पहलवानों को ललकारने लगा लेकिन कोई उससे मुकाबले को तैयार नहीं हुआ। धीरे-धीरे वह ब्रह्माईन गांव में भी पहुंच कर वहां के लोगों को ललकारने लगा। उसके आतंक से गांव में सन्नाटा पसर गया। उसकी चुनौती गांव के रेखा साह को बर्दाश्त नहीं हुई। वह घर से निकलकर आदि शक्ति मा ब्रह्माणी देवी के मंदिर में पहुंच गया। वहां देवी के सामने इलाके की लाज व सम्मान के लिए ताकत व हिम्मत देने की मंशा लिये आराधना करने लगा। बताते हैं कि मां के आशीर्वाद से रेखा साह के अंदर एक अद्भुत शक्ति का एहसास हुआ। साह ने मां से वादा किया कि अगर वह इस जंग में नट पहलवान को मात दे देगा तो आपके दरबार में प्रतिदिन दीपक जलायेगा। फिर क्या था शरीर से निर्बल रेखा साह सबल हो गया। मंदिर से निकल कर वह सीधे नट पहलवान के पास पहुंचा और उसे ललकारने लगा। हालांकि गांव वालों ने उसे नट पहलवान से हाथ न मिलाने की सलाह भी दी लेकिन उसके ऊपर कोई असर नहीं हुआ। यह बात उस क्षेत्र में जंगल में लगी आग की तरह फैल गयी। मुकाबले को देखने के लिए दूर-दराज के पहलवान भी आ धमके। देवी मां के आशीर्वाद से रेखा साह ने नट पहलवान को धूल चटा दी। इसके बाद से साह परिवार मां के दरबार में प्रतिदिन दीपक जलाने लगा। रेखा साह के बाद जूठन, जगदीश और मौजूदा समय में विजय साह ने चौथी पीढ़ी का प्रतिनिधित्व करते हुए इस परम्परा को जारी रखा है।

इस परिवार के विजय गुप्ता बताते है कि दस वर्षों से मंदिर में आये बदलाव से इस परम्परा पर भी असर पड़ा है। जगमगाती रौशनी के बीच दीपक का महत्व नहीं रह गया। ऐसे में अपने घर में ही मां के नाम पर दीपक जलाने की व्यवस्था की गयी है लेकिन आज भी नवरात्र के दिनों में मां के दरबार में मेरे ही खानदान का दीपक सरसों के तेल या शुद्ध घी से जलता है। दस वर्ष पूर्व इस दीपक का काफी महत्व था। मा की महिमा का बखान करते यह परिवार कभी नहीं थकता। इनका मानना है कि देवी की कृपा से ही उनके कुल पुरुष ने गांव का मान-सम्मान रखा था।

Thursday, September 24, 2009

फोटो-2-भू्रण हत्या सामाजिक अपराध !

रसड़ा (बलिया) । भोजपुरी जन भाषा है और उसका मर्मस्पर्शी प्रभाव समाज को नई दिशा देने में समर्थ है। भू्रण हत्या पर जारी फिल्म निश्चित रूप से समाज की संवेदनशीलता को जगायेगी। लोग बेटा व बेटी में अन्तर न करके बच्चियों के विकास के सभी अवसर प्रदान करेंगे।

बलिया जनपद सहित अन्य जनपदों में फिल्मायी गयी भू्रण हत्या पर आधारित भोजपुरी वीडियो फिल्म कैसेट 'का हमार कसूर बा' का विमोचन बुधवार को स्थानीय गांधी पार्क में नगर पालिका परिषद के अध्यक्ष वशिष्ठ नारायण सोनी ने सपा नेता चन्द्रशेखर सिंह के साथ करते हुए उपर्युक्त उद्गार व्यक्त किया।

उन्होंने व्यक्तिगत रूप से इस फिल्म कैसेट की सफलता की कामना करते हुए कहा कि यह फिल्म सामाजिक परिवर्तन की दिशा में मिल का पत्थर साबित होगी। सपा नेता चन्द्रशेखर सिंह ने भू्रण हत्या को सामाजिक अपराध बताते हुए कन्याओं के विकास की दिशा में सपा सरकार की उपलब्धियों की जानकारी दी।

कार्यक्रम में फिल्म की नायिका प्रिया वर्मा एवं बाल कलाकार शालू यादव ने फिल्म की कुछ दृश्यों के मर्म स्पर्शी सवांद को प्रस्तुत किया। अन्य कलाकार यशवंत वर्मा, अजय गुप्ता, सावित्री देवी, शाहनवाज अहमद, सुमन सिंह तथा तेतरी देवी भी मंच पर उपस्थित रही। वीडियो फिल्म निर्माता गौरव गिल, निहाल खां, निर्देशक समीर सागर तथा संगीतकार सतीश सीतल ने उपस्थित श्रोताओं को फिल्म की विशेषताओं के बारे जानकारी दी। अंत में कार्यक्रम के संयोजक तथा संचालन कर्ता गुलजार अहमद के साथ पिन्टू अन्सारी ने सभी के प्रति आभार व्यक्त किया।

Wednesday, September 23, 2009

हिन्दी को शामिल किया जाय आठवीं अनसूची में: हीरालाल !

बलिया। राष्ट्रभाषा हिन्दी को आठवीं अनसूची में शामिल करना अब समय की मांग बन गयी है। आवश्यकता इस संबंध में सार्थक पहल करने की है। तभी इसे अपेक्षित मुकाम मिल सकता है।

यह बातें पाक जेलों में जलालत की जिन्दगी गुजार रहे भारतीय युद्धबंदियों की रिहाई के लिए बिना सीट वाली साइकिल से दर्जनों देशों की यात्रा कर चुके गाजीपुर जनपद के सिधारी निवासी हीरालाल ने कहीं। वे दीवानी न्यायालय के सेंट्रल हाल में जिला जज आरपी शुक्ला के निर्देशन में सिविल जज (सीडी) अनिल कुमार यादव द्वारा आयोजित हिन्दी सप्ताह दिवस के अवसर पर आयोजित समारोह को बतौर मुख्य अतिथि संबोधित कर रहे थे। इस दौरान उन्होंने परूवा बैल नामक हास्य कविता सुना सबको लोटपोट कर दिया। इससे पूर्व हिन्दी प्रचारिणी सभा के डा.शत्रुघ्न पाण्डेय ने कहा कि हिन्दी एक ऐसी भाषा है जो सभी भाषाओं को एक सूत्र में पिरो देती है। जिस राष्ट्र के पास अपनी भाषा नहीं वह राष्ट्र नहीं। इसी क्रम में अनवर लतीफी, रामाशंकर पाण्डेय, सुभाष पाण्डेय, विवेक मोहन श्रीवास्तव, त्रिभुवन सिंह, प्रीतम, अशोक कुमार, बच्चू सिंह के साथ ही इस कार्यक्रम के संयोजक सिविल जज (सीडी) अनिल कुमार यादव ने हिन्दी साप्ताहिक दिवस पर विस्तृत चर्चा की तथा अपनी कविताएं सुना कर सबको भाव-विभोर कर दिया।

इस अवसर पर अपर सत्र न्यायाधीश द्वितीय कुशलपाल सिंह, तृतीय जज राधेश्याम सिंह, चतुर्थ एकेझा, स्पेशल जज, यूसी सक्सेना, एफटीसी तृतीय श्याम नारायण त्रिपाठी, सीजेएम पृथ्वीपाल सिंह यादव, जेएम द्वितीय पवन कुमार राय, अध्यक्ष सिविल बार एचएन सिंह, सचिव क्रिमिनल बार राजेन्द्र सिंह, अध्यक्षगण जूनियर बार मुरली मनोहर सिंह व लक्ष्मण यादव, पश्चिमी मुंसिफ अरुण कुमार, अवधेश सिंह, रतन मिश्रा, विनायक सिंह, पप्पू चौरसिया आदि मौजूद रहे। अध्यक्षता कर रहे जिला जज आरपी शुक्ला ने अपनी कविताओं से इस कार्यक्रम को मंजिल तक पहुंचाया। इस मौके पर कई लोगों को प्रशस्ति पत्र व स्मृति चिह्न देकर सम्मानित किया गया। संचालन पवन कुमार श्रीवास्तव (बाबू) सिविल जज पश्चिमी ने किया।

Tuesday, September 22, 2009

मेल मिलाप से ही समरसता सम्भव : दारा !

रसड़ा (बलिया) । मेल मिलाप ही हमारे जीवन में समरसता, सामंजस्य, प्रेम लाने और सम्मान पूर्ण ढंग से जीने का संदेश देता है। इसी संदेश को लेकर ईद प्रतिवर्ष आता है ताकि हम शरीर व मन की शुद्धि के साथ-साथ समाज के हित में व्यापक काम करे जिससे कोई भी दीन दुखी न रहे और सबके जीवन में खुशहाली आ जाय

नगर के जल्पा स्थान मुहल्ले में मंगलवार की शाम डा. वसीउल्लह द्वारा आयोजित ईद मिलन समारोह में उपस्थित मुख्य अतिथि सपा सांसद दारा सिंह चौहान ने उपर्युक्त उद्गार व्यक्त किया। समारोह में उपस्थित भारी संख्या में हिन्दू-मुसलमानों के अपार स्नेह व मुहब्बत को देख सांसद भाव विभोर हो उठे और उन्होंने सभी को गले लगाकर ईद की मुबारकबाद दी।

प्रमुख समाज सेवी राजेश कुमार गुप्ता, बसपा नेता नुरूल बशर अन्सारी तथा ओम जी बरनवाल ने अपने संदेश में भारत की मिलीजुली संस्कृति का स्मरण कराते हुए लोगों से आपसी प्रेम व भाईचारा बनाये रखने का आग्रह किया

इस अवसर पर डा. बशीर अहमद, सुनील सिंह, राशिद फारुख, हरिनाथ प्रसाद, जमशेद, एनामुर्रहमान, याशीर, मुन्ना भाई तथा नेहाल अहमद ने सभी से नगर के दो सूफी संतों रोशन शाह व श्रीनाथ बाबा की परम्परागत एकता को बनाये रखने का आह्वान किया। संचालन डा. वसीउल्लाह ने किया। ईद मिलन समारोह के आयोजन में मो. रेयाज, मो. एजाज, मो. सलमान, मो. गुफरान, मो. तारीक व फहीम अहमद ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई

Monday, September 21, 2009

प्राण प्रतिष्ठा यज्ञ के लिए निकली भव्य कलश यात्रा !

बलिया। क्षेत्र के आसन पंचायत में नव निर्मित नव दुर्गा चण्डी प्राण प्रतिष्ठा यज्ञ सोमवार को प्रारम्भ हो गया जो 27 सितम्बर 09 तक चलेगा। इसी के तहत यज्ञ के पहले दिन कलश यात्रा मंदिर परिसर से प्रात: 9 बजे मां दुर्गा मंदिर से पूजा अर्चन के बाद निकाली गयी।

कलश यात्रा का नेतृत्व मंदिर के महाराज दामोदर दास जी फलाहारी बाबा कर रहे थे। बाबा फलाहारी दास जी के विधिवत पूजन-अर्चन के बाद मां के जयकारों के बीच कलश यात्रा प्रारम्भ हुई। कलश यात्रा आसन से होते हुए पचखोरा, कचबचिया, ब्रह्माणी ठेकवरा, शेरवां कला, कुर्थिया, आसन होते मंदिर परिसर पहुंची। कलश यात्रा में 116 कन्यायें अपने सिर पर जल लिये हुए मां के जयकारों के बीच चल रही थीं। यात्रा में हाथी, घोड़ा, बैण्ड बाजा एवं भक्तजन हाथ में ध्वज लिये आगे चल रहे थे।

उक्त अवसर पर बालदेव शुक्ला , धर्मात्मा सिंह, शिव कुमार सिंह, गोरख यादव, इंद्रजीत सिंह, रास बिहारी सिंह, वीरेद्र सिंह, राजेश सिंह, धीरेंद्र प्रताप सिंह, नीरज कुमार सिंह सहित हजारों की संख्या में भक्त जन उपस्थित रहे।

मिल्लत व पाकीजगी के साथ मनी ईद, गले मिले लोग !

बलिया। शव्वाल की पहली तारीख को ईद का त्योहार नगर समेत ग्रामीण अंचलों में भी अकीदत के साथ मनाया गया। मुस्लिम भाइयों ने नजदीक के ईदगाह अथवा मस्जिदों में जाकर शुक्राने की नमाज अदा करते हुए मुल्क की सलामती के लिए दुआ मांगी। सामाजिक सौहार्द को मजबूती देते हुए हिन्दू समाज के लोग भी पीछे नहीं रहे और मुस्लिम भाइयों को गले लगा उन्हे ईद की मुबारकबाद दी।

शहर के गुदरी बाजार स्थित बड़ी मस्जिद, कसावटोला, विशुनीपुर स्थित मस्जिद के अलावा बहेरी स्थित ईदगाह में ईद की नमाज अदा की गयी। विशुनीपुर मस्जिद पर जिलाधिकारी सेंथिल पाण्डियन सी व पुलिस अधीक्षक चन्द्र प्रकाश ने मुस्लिम बंधुओं को गले लगाते हुए उन्हे ईद की मुबारकबाद दी। इस अवसर पर नपा अध्यक्ष संजय उपाध्याय, नगर मजिस्ट्रेट देवकृष्ण तिवारी, उप जिलाधिकारी सदर एमपी सरोज, सीओ नगर चिंरजीव मुखर्जी व ईओ नगर पालिका रमेशचन्द्र सिंह ने भी गले मिलकर ईद की बधाई दी। इस अवसर पर जिले के आला अधिकारियों ने मस्जिदों का चक्रमण करते हुए व्यवस्थाओं का जायजा भी लिया। विशुनीपुर मस्जिद के मौलाना उस्मान कादिरी ने ईद की नमाज अदा करते वक्त विश्व शांति विकास व उत्थान के लिए दुआ की।

रसड़ा प्रतिनिधि के अनुसार नगर के ईदगाह में मौलाना सरवर साहब, मस्जिद हज्जिान में मौलाना अख्तर करहानी, मुन्सफी मस्जिद में हाफिज एनामुलहक तथा पुरानी मस्जिद में हाफिज ताहा ने नमाज-ए-ईद अदा करायी। इस अवसर पर मुल्क व लोगों की सलामती के लिए विशेष दुआ मांगी गयीं और लोगों को हक व इन्साफ के रास्ते पर चलने की हिदायतें दी गयीं। क्षेत्र में शान्ति स्थापित करने हेतु एसडीएम रसड़ा रत्‍‌नाकर मिश्रा, क्षेत्राधिकारी देशराज सिंह तथा प्रभारी निरीक्षक एसके सिंह बराबर चक्रमण करते रहे और ईदगाह पहुंचकर मुस्लिम भाइयों को बधाइयां दीं।

सिकन्दरपुर प्रतिनिधि के अनुसार सोमवार को प्रात: से ही सभी मुस्लिम मोहल्लों में काफी चहल पहल रही। नहा धोकर सभी लोग प्रात: 8 बजे शाही मस्जिद तथा 9 बजे ईदगाह में शुक्राना नमाज अदा किये। साथ ही एक दूसरे से गले मिल ईद की बधाई दी। बाद में लोग एक दूसरे के घर जा इस अवसर पर बनने वाली विशेष सेवई ग्रहण किये। बाद नमाज ईदगाह पर विधायक भगवान पाठक, नगर पंचायत अध्यक्ष डा. रवीन्द्र वर्मा, प्रयाग चौहान ने मुसलमानों को ईद की बधाई दे साम्प्रदायिक सद्भाव को प्रगाढ़ किया।

बिल्थरारोड प्रतिनिधि के अनुसार लखनऊ से सीधे अपने पैतृक गांव पहुंचे अवामी कौंसिल के प्रदेश सचिव फजील अहमद ने बिठुआं ग्राम में नमाज अदा करने के साथ ही लोगों से गले मिल ईद की बधाई दी।

फेफना प्रतिनिधि के अनुसार तीखा, मिठवार, फेफना व सिंहपुर में शुक्राने की नमाज अदा की गयी। इसके बाद मुस्लिम लोगों ने एक दूसरे को गले लगाया तथा ईद की मुबारकबाद दी। शांति व्यवस्था कायम रखने के लिए थानाध्यक्ष तेज बहादुर सिंह पूरे इलाके में चक्रमण करते रहे।

गड़वार प्रतिनिधि के अनुसार क्षेत्र के अगल-बगल सरयां विसुकिया आदि गांवों में ईद का त्योहार अकीदत से मनाया गया। स्थानीय थाने के पास ईदगाह में सुबह 8:30 बजे गड़वार मस्जिद के इमाम मजहर अली काशमी ने ईद की नमाज अदा करायी। इसमें दामोदरपुर, त्रिकालपुर, खड़िचा, नवादा, कोटवापुर के मुस्लिम सम्प्रदाय के लोगों ने हिस्सा लिया। इस अवसर पर पूर्व मंत्री व क्षेत्रीय विधायक अम्बिका चौधरी ने भ्रमणकर ईद की मुबारक दी।

खेजुरी प्रतिनिधि के अनुसार खड़हरा, खेजुरी, मासूमपुर, रक्शा, पूर, पकड़ी, पहराजपुर, एकइल, पन्दह, गढ़मलपुर व जगदरा में लोगों ने सबको गले लगाकर ईद की मुबारकबाद दी।

प्रकृति संतुलन के लिए गो रक्षा का लें संकल्प !

बलिया। स्थानीय राम नारायण सिंह सरस्वती विद्या मंदिर के प्रांगण में सोमवार को द्वाबा विकास मंच की हुई बैठक में विश्व मंगल गो ग्राम यात्रा को सफल बनाने का निर्णय लिया गया।

बैठक में द्वाबा विकास मंच के संयोजक सुरेन्द्र सिंह ने लोगों से इस अभियान में सहयोग करने का आग्रह करते हुए कहा कि भारत पुन: विश्व को यह दिशा दे सकता है कि गो केवल पशु मात्र नहीं है बल्कि विश्व मानवता का स्वास्थ्य व संस्कार के साथ साथ सम्पन्नता बढ़ाने का एक सरल माध्यम है। उन्होंने कहा कि भारत का दुर्भाग्य है कि जो गाय सब कुछ देने की क्षमता रखती है, उसकी पहचान के लिए आज तक कुछ भी प्रयास नहीं किया गया। यदि गो हत्या पर प्रतिबंध न लगा तो प्रकृति भी संतुलित नहीं रह सकेगी। इसलिए प्रत्येक व्यक्ति को गो रक्षा का संकल्प लेना चाहिए। कहा कि गाय को हम माता की संज्ञा इसलिए देते है कि क्योंकि वैज्ञानिक दृष्टिकोण से मां की दूध में और गाय की दूध में समानता है। जिस प्रकार अपनी मां की रक्षा एवं सेवा करने का देश के प्रत्येक व्यक्ति का धर्म है उसी तरह गौ माता की भी जिम्मेदारी पूर्वक रक्षा हमें करनी चाहिये। बैठक में अशोक पांडेय, सत्येन्द्र पांडेय, अरुण मिश्रा, अजय सिंह आदि उपस्थित रहे।

Sunday, September 20, 2009

नवरात्र व ईद पर उमड़ी भीड़ से गुलजार हुए बाजार !

बलिया। अभी विश्वकर्मा पूजा, पितृ विसर्जन समाप्त ही हुए है कि हिन्दुओं का पावन त्योहार नवरात्र व मुस्लिमों बन्धुओं का पावन त्योहार ईद एक साथ पड़ जाने से बाजारों में काफी चहल पहल देखने को मिल रही है। लोग अपनी आवश्यकतानुसारसामानों की खरीदारी करने में जुटे हुए हैं। इन त्योहारों को लेकर युवाओं में काफी उत्साह देखने को मिल रहा है। मुस्लिम युवा रंग बिरंगी टोपी व नये-नये वस्त्रों की खरीदारी में जुटे हुए है वहीं दूसरी ओर हिन्दू युवा मां दुर्गा के पंडालों को विशेष व आकर्षक रूप देने में जुटे हुए हैं। ईद की तैयारियां चरम सीमा पर होने के कारण ग्राहक अब अपने खरीदारी को अंतिम रूप देने लगे है। चौक स्थित किराना स्टोर के स्वामी शाहू विजय शंकर के अनुसार बढ़ती महंगाई का असर ग्राहकों के चेहरे पर साफ नजर आ रहा है। वे दुकानों में प्रवेश करते समय ही बोलते हैं कि भैया सस्ता वाला ही सामान दिखाइये ज्यादा महंगा वाला के जरूरत नइखे काहे कि ए घरी महंगाई में पैसा के बड़ा अभाव बा ऐसा कुछ कहने को मजबूर है ग्राहक। इसके अतिरिक्त सामानों की मात्रा कम करके लेना व सस्ते सामानों को पसंद करना उनकी मजबूरी बन गयी है। चौक स्थित एक किराना स्टोर के संचालक ओम प्रकाश के अनुसार बढ़ती महंगाई का असर बाजारों एवं दुकानों में प्रत्यक्ष रूप से देखने को मिल रहा है। पहले इन दिनों हमें बात करने का समय नहीं मिल पाता था लेकिन अब हम पूरे दिन ग्राहकों का रास्ता ही निहारते रह जाते हैं। उनके अनुसार इस समय बिक्री मात्र एक चौथाई ही हो रही है। शासन के तमाम प्रयासों के बावजूद महंगाई ने लोगों की मांग व जीभ को काफी हद तक नियंत्रित करने के लिए विवश कर दिया है। यदि सूत्रों की मानें तो लोग अब किसी भी त्योहार को उतने उमंग एवं उत्साह के साथ नहीं मना पा रहे हैं जितना कि लोग पहले के समय में मनाया करते थे। बढ़ती महंगाई के कारण समाज के सभी वर्ग के लोग कराह रहे है।

नगर में चौक स्थित किराने की दुकान के स्वामी शाहू श्री के अनुसार महंगाई का असर बाजारों में प्रत्यक्ष रूप से पड़ा है। लोग जैसे-तैसे अपने कर्तव्यों का निर्वाह करने में लगे हुए हैं। जो ग्राहक पहले दो हजार रुपये की खरीदारी करते थे वे अब एक हजार रुपये की खरीदारी कर त्योहार मनाने को विवश हैं।

पांच दिनों की बैंक बंदी ने मजा बिगाड़ा

बलिया: विश्वकर्मा पूजा, पितृ विसर्जन, शारदीय नवरात्र व ईद क्रमश: पड़ जाने से बैंक पिछले पांच दिनों से बंद चल रहे हैं और मंगलवार को खुलने की उम्मीद है। बैंकों की लगातार बंदी के कारण लोग अपने खाते से पैसा नहीं निकाल पाये। इसका खरीदारी पर भी व्यापक असर पड़ा। जनपद के समस्त एटीएम भी बंद पाये गये जिससे उनकी परेशानी और बढ़ गयी। अपवाद स्वरूप नगर के रेलवे स्टेशन परिसर में स्थित स्टेट बैंक का एक मात्र एटीएम खुला था जिस पर लोगों की लम्बी कतार लगी हुई थी।

Saturday, September 19, 2009

या देवी सर्वभूतेषु के उद्घोष से गूंजी भृगु की धरती !

बलिया। सर्व मांगलम् मांगल्ये शिवे सर्वाध्रसाधिके, शरणये त्रयम्बके गौरी नारायणी नमोस्तुते के बीच आदि शक्ति पारम्बा के स्मरण का विशेष अवसर शारदीय नवरात्र शनिवार को कलश स्थापना के साथ ही प्रारम्भ हुआ। देवी भक्तों ने मातारानी को प्रसन्न करने के लिए घर में विशेष पूजा अर्चन किया तथा कलश स्थापित कर नौ दिन तक चलने वाले इस आयोजन के लिए अखण्ड दीप प्रज्ज्वलित किया। बहुतेरों ने दिन भर का उपवास रखा तो कुछ ने नौ दिन उपवास रखने का संकल्प लिया।

शारदीय नवरात्र के पहले दिन जनपद के सभी देवी मंदिरों पर अत्यधिक भीड़ जुटी। लोगों ने माता रानी का दर्शन कर मन्नतें मांगी। ब्राह्मणी देवी , शंकरी भवानी (शंकरपुर), कपिलेश्वरी भवानी (कपुरी नारायणपुर), मंगला भवानी (कोरण्टाडीह), खरीद की देवी (सिकंदरपुर) आदि मंदिरों पर श्रद्धालुओं की भारी भीड़ जुटी रही। नगर स्थित जापलिनगंज दुर्गा मंदिर में मां के दर्शन-पूजन को श्रद्धालुओं का तांता लगा रहा और यहां के पुजारी श्रीकांत चौबे लोगों को नवरात्र का महत्व बताते दिखे। लोगों ने प्रात: काल ही घरों की साफ-सफाई के पश्चात विशेष पूजन-अर्चन कर देवी मां की आराधना के लिए कलश स्थापित कर अखण्ड दीप जलाया व दुर्गा सप्तशती का पाठ भी किया। कुछ ने अपने घर में कलश रखा तो कुछ ने बगल के देवी मंदिरों में कलश रखा। बहुतायत भक्तों ने दिन भर का उपवास रखा तो कुछ एक ने नौ दिन व्रत रखने का संकल्प लिया। बता दें कि शारदीय नवरात्र में मां दुर्गा के नौ रूपों की आराधना की जाती है। प्रथम दिन शैलपुत्री की आराधना हुई।

खेजुरी प्रतिनिधि के अनुसार स्थानीय देवी मंदिरों में नवरात्र के पहले दिन भारी भीड़ देखी गयी। लोगों का सुबह से ही आना शुरू हो गया। पकड़ी के भवानी एवं खिला के भवानी के मंदिर में सुबह से ही लोगों का तांता लगा रहा।

रेवती प्रतिनिधि के अनुसार क्षेत्र के मां पचरूखा देवी व शोभनथही देवी मंदिर के दर्शन पूजन के लिए श्रद्धालुओं की प्रात: से देर रात्रि तक तांता लगा रहा।

सागरपाली प्रतिनिधि के अनुसार लखनऊ-बलिया मार्ग पर स्थित कपिलेश्वरी भवानी मंदिर कपूरी नारायणपुर में देवी दर्शन हेतु भक्तों का रेला लगा रहा।

नगरा प्रतिनिधि के अनुसार शारदीय नवरात्र के प्रथम दिन क्षेत्र के देवी मंदिरों में श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ पड़ी। नगरा बाजार स्थित दुर्गा मंदिर व नरहीं स्थित मां नरहेजी के मंदिर पर महिलाओं व पुरुषों की भीड़ पूरे दिन दर्शन-पूजन करती रही। शक्ति की अधिष्ठात्री देवी मां दुर्गे के जयकारों से पूरा क्षेत्र गूंजता रहा।

सुखपुरा प्रतिनिधि के अनुसार माता के पवित्र मंदिर के समीप ही प्रतिवर्ष जिला पंचायत द्वारा दशहरा पर मेला का आयोजन किया जाता है जिसमें पशुओं का मेला धीरे-धीरे शुरू हो गया है।

गाय की रक्षा देश की रक्षा नारा लगाते निकाला मोटरसाइकिल जुलूस !

बलिया। विश्व मंगल गो ग्राम यात्रा के प्रति जागरूकता उत्पन्न करने के लिए नगर में विशाल मोटरसाइकिल जुलूस निकाला गया तथा अंत में टाउन हाल के मैदान में एक सभा करके गो रक्षा-ग्राम रक्षा के संकल्प हेतु हस्ताक्षर अभियान का शुभारम्भ किया गया।

मोटरसाइकिल जुलूस टाउन हाल मैदान से शुरू होकर जिला चिकित्सालय, रामपुर महावल, चन्द्रशेखर नगर, बहेरी, चित्तू पाण्डेय चौराहा, टीडी कालेज चौराहा, कुंवर सिंह चौराहा, हनुमान मंदिर रामपुर उदयभान, आनंद नगर, तीखमपुर, हरपुर मिड्ढी, काजीपुरा, भृगुआश्रम, कदम चौराहा, बालेश्वर मंदिर होते हुए पुन: टाउन हाल पहुंचा।

जुलूस में शामिल हजारों कार्यकर्ता 'गो हत्या बंद करो, गाय रक्षा देश की रक्षा' गाय की रक्षा कृषि की रक्षा, वंदेमातरम, वंदे गो-मातरम जैसे नारे लगा रहे थे। जुलूस में संघ परिवार के अलावे गायत्री परिवार, आर्य समाज, सिख संगत, आर्ट आफ लिविंग, पतंजलि योगपीठ से जुड़े अनेक कार्यकर्ता भी सम्मिलित थे। जुलूस में शामिल लोगों में सुरजीत सिंह, ब्रजनारायण राय, अरुण मणि, मनोज पाण्डेय, विनोद सिंह, डा.चन्द्रशेखर पाण्डेय, अक्षय ठाकुर, शिव कुमार कौशिकेय, संजय शुक्ल, डा.धर्मेन्द्र सिंह, राम कुमार तिवारी, नकुल चौबे आदि प्रमुख थे।

जुलूस के बाद हुई सभा की अध्यक्षता पूज्य संत रामबालक दास जी ने की। सभा में उपस्थित सभी लोगों ने गो संरक्षण एवं संवर्धन हेतु संकल्प लिया। सभा को मणिराम मिश्र, रमेश राय, रामजी सिंह, गिरीश नारायण चतुर्वेदी आदि ने सम्बोधित किया। सभा का संचालन यात्रा के सह संयोजक रामायण सिंह ने किया।

बैरिया प्रतिनिधि के अनुसार निकटवर्ती खपड़िया बाबा के आश्रम श्रीपालपुर से विश्व मंगल गो ग्राम यात्रा का शुभारम्भ शनिवार को ब्रह्मचारी उमेशानंद जी व ब्लाक प्रमुख कन्हैया सिंह के नेतृत्व में धार्मिक आयोजनों के साथ किया गया। सर्व प्रथम धार्मिक अनुष्ठान के साथ गो पूजन किया गया। इसके बाद विश्व मंगल गो ग्राम यात्रा को वहां से रवाना किया गया। इस अवसर पर तहसील प्रचारक राकेश जी, सूर्य विक्रम सिंह, रमाशंकर सिंह, पवन पाठक, राज नारायण सिंह, मनोज सिंह सहित दर्जनों लोग उपस्थित थे।

बताते चलें कि सन् 1952 में भी गो हत्या बंद कराने के लिए खपड़िया बाबा ने राम राज्य परिषद के साथ संसद भवन पर विरोध प्रदर्शन किया था।

गंगा को अन्तर्राष्ट्रीय बाजार बनने से रोकें: रमाशंकर !

बलिया। गंगा मुक्ति एवं प्रदूषण विरोधी अभियान राष्ट्रीय के प्रभारी रमाशंकर तिवारी ने पतित पावनी का प्रदूषण दूर करने के क्रम में प्रधानमंत्री एवं भारत सरकार के उस प्रयास की आलोचना की है जिसमें केन्द्र ने अन्तर्राष्ट्रीय आर्थिक ताकतों से गंगा प्रदूषण में सहभागिता करने का अनुरोध किया गया। श्री तिवारी ने बताया कि विश्व की 30 विदेशी कम्पनियों ने सरकार से गंगा प्रदूषण दूर करने की मंशा जाहिर की है। उक्त आशय की जानकारी अध्यात्मिक चिन्तन संस्थान की बैठक में संस्थान के मिश्र नेवरी स्थित कार्यालय पर अध्यक्षता करते हुए रमाशंकर तिवारी ने दी। कहा प्रधानमंत्री गंगा को अन्तर्राष्टीय बाजार बनने से रोकें। भारत की जनता में इतनी ताकत है कि वह अपनी आराध्य एवं धरोहर मां गंगा की रक्षा खुद कर लेगी। श्री तिवारी ने इस बात पर जोर दिया कि आगामी 5 अक्टूबर को गंगा नदी बेसिन प्राधिकरण की बैठक में कोई ऐसा निर्णय सरकार न ले जिससे सफाई के नाम पर गंगा को ही गिरवी रखना पडे़। उन्होंने कहा कि गंगा मुक्ति एवं प्रदूषण विरोधी अभियान के तहत बक्सर के विश्वमित्र इण्टर कालेज में 22 सितम्बर को चिन्तन बैठकर सरकार के कदमों की समीक्षा की जायेगी। इस अवसर पर डा. जनार्दन राय,श्रीकांत चौबे, शिवदत्त पाण्डेय, डा. बृज बिहारी ओझा, शिवदत्त पाण्डेय सहित दर्जनों बुद्धिजीवियों ने सरकार से गंगा की धार को अविरल करने की मांग की।

Friday, September 18, 2009

शारदीय नवरात्र आज से, देवी आराधना में जुटे भक्त !

बलिया। शारदीय नवरात्र में आदि शक्ति मां की पूजा के लिए भक्तों ने सारी तैयारी पूरी कर ली है। शक्तिपीठों पर भक्तों के दर्शन पूजन के लिए कमेटी के सदस्य साफ-सफाई हेतु जुटे रहे। इधर घरों में देवी मां की पूजा के लिए कलश स्थापना की व्यवस्था में लोग लग गये हैं। शक्तिपीठों पर लगने वाले भीड़ को देखते हुए पुलिस प्रशासन ने सुरक्षा व्यवस्था का पुख्ता इंतजाम कर लिया है। शनिवार से शुरू हो रहे नवरात्र में शक्तिपीठ, ब्रह्माणी देवी, मंगलाभवानी, कपिलेश्वरी, शंकरी भवानी के मंदिरों को पूरी तरह से सजाया गया है। मंदिरों के प्रबंध कमेटी तैयारी करने में जुट गये हैं। वहीं घरों में कलश स्थापना के लिए सामानों की खरीदारी में लोग एक दिन पूर्व से जुटे रहे। नगर के जापलिनगंज स्थित मां भगवती के शक्तिपीठ पर पूजा तैयारी की धूम रही। वहीं पूजा से सम्बन्धित सामानों पर महंगाई का असर दिखा। केला 12 रुपये प्रति दर्जन, सेव 70 रुपये, अनार 60 रुपये, संतरा 40 रुपये, सिघाड़ा 80 रुपये, मूंगफली का दाना 60 रुपये, तीना चावल 100 रुपये, पूजा सामग्री नारियल 18 रुपया, चुनरी 120 रुपये, माला 10 रुपये के अलावा अन्य सामनों के दाम भी बढ़े हुए थे। देवी मंदिरों के पास दुकानें पूरी तरह से सज गयी हैं। पुलिस अधीक्षक चन्द्र प्रकाश ने सभी शक्तिपीठों पर फोर्स की तैनाती कर दी है