Monday, April 13, 2009
सत्कर्म व ज्ञान से ही संभव है इंसान की मुक्ति: संत रामअवध
बलिया। ज्ञान से व्यक्ति के कर्म का निर्माण होता है और उसका कर्म ही खोलता है उसके मुक्ति का मार्ग और यह संभव है सदगुरु के शरण में जाने पर ही। उक्त बातें क्षेत्र के भीमपुरा जूनियर हाई स्कूल के प्रांगण में सोमवार को आयोजित निरंकारी संत समागम सत्संग कार्यक्रम के दौरान संत रामअवध मौर्या ने कही। साथ ही उन्होंने सदगुरु को साकार ब्रह्म करार देते हुए कहा कि जो भी इन्हें सच्चे मन से याद करता है, उसे इनका सानिध्य अवश्य मिलता है। साथ ही सर्व मनोकामना प्राप्ति व उसके मोक्ष का मार्ग प्रशस्त हो जाता है। कहा कि सांसारिक जीवन जीने वाले भी सच्चे हृदय से इन्हें याद कर हर जगह इन्हें पा सकते हैं। उक्त अवसर पर उपस्थित बड़ी संख्या में पहुंचे श्रद्धालु नर-नारियों ने सत्संग का रसास्वादन किया। इस दौरान विशाल भंडारा का भी आयोजन किया गया था। इसमें श्रद्धालुओं ने प्रसाद ग्रहण किया। कार्यक्रम को सफल बनाने में राजेन्द्र प्रसाद, संतोष कुमार, प्रमोद वर्मा, जंग बहादुर, जयप्रकाश, बेचू प्रसाद, रामवतार व श्याम बिहारी आदि का सराहनीय योगदान रहा।
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